ताकि गलती से वह पेड़ लाईन पर न गिर जाए और ट्रिपिंग न हो जाए। इतना ही नहीं उपग्रिड हो या ग्रिड। जानवर या मौसम के कारण फाल्ड हो।हर हार में उसे सुधारकर बिजली प्रदाय करने के स्पष्ट निर्देश है। प्रदेश के साथ जिले में भी बार-बार हो रही कट्रौती के कारण एक साथ हुई बड़ी कार्रवाई में २७ अधिकारी-कर्मचारी नपे थे। इसके बाद पूरा विभाग अलर्ट पर है और हर कोई सकते है। ट्रिपिंग होते ही पूरा अमला फाल्ट को ढूंढकर सुधारने में लगा है। हर कोईइसी डर में है कि लापरवाही की वजह कही वो न बन जाए और कार्रवाई की जद में उनका नाम न आ जाए।
चुनाव तक नहीं मिलेगा शटडाऊन और ट्रिपिंग भी नहीं
बड़े स्तर पर हुई कार्रवाई के बाद प्रदेश के ऊर्जा विभाग के प्रमुख सचिव ने सभी अधिकारियों की वीसी ली। इसमें दो टूक कहा कि किसी भी सूरत में बेवजह की ट्रिपिंग बर्दाश्त नहीं होगी। और चुनाव तक हर हाल में सतत विद्युत प्रदाय हो। कटौती नहीं होना चाहिए। जहां जिन वजहों से ट्रिपिंग हो रही है तो जितनी जल्द हो सकें। फाल्ट सुधारकर लाईट चालू करों। चुनाव तक किसी भी काम के लिए अब किसी भी फीडर में सटडाऊन नहीं दिया जाए। इतना ही नहीं उन्होंने यह भी निर्देश दिए कि आऊटसोर्सिंग में यदि कोई कर्मचारी आया है और वह कंपनी के अनुरुप काम नहीं कर रहा है और स्थानीय स्तर पर कार्रवाई नहीं हो पा रही तो उसका नाम वहां भेजे।बिजली प्रदाय के साथ जलापूर्ति वाले स्थानों पर भी कटौती नहीं करते हुए वहां भी ध्यान रखने के निर्देश दिए। ऊर्जा सचिव के निर्देशों के बाद विभाग हर एक जगह पैनी निगाह बनाए हुए है।
जिले में 4 लाख से अधिक उपभोक्ता
विद्युत कंपनी से जानकारी के अनुसार जिले में विद्युत उपभोक्ता करीब ४ लाख ५५१ है। इसके विपरीत कंपनी के पास अनुमानित तौर पर ५०० लाइनमैन, ५०० कंपनी का स्टॉफ और ६०० लेबर है।जो लाईनों के साथ विद्युत से जुड़े मामलों का काम कर रहे है। वर्तमान में २७ लोगों पर कार्रवाई की गईहै। ऐसे में उनका काम अन्य से कराया जा रहा है।पूरे समय विद्युत अमले को अलर्ट किया गया है। कर्मचारी से लेकर अधिकारी व लाईनमैन तक इस कार्रवाई के बाद सकते हैऔर सुबह से लेकर रात तक अपने-अपने ग्रिड से लेकर लाईनों पर सजग होकर लगे हुए है। दिनभर से लेकर रातभर में कई बार ग्रिड की चैकिंग हो रही है। अब कर्मचारी के भरोसे पर न रहते हुए अधिकारी खुद ग्रिड पर नजर रखें हुए है।
लगातार की जा रही निगरानी
ट्रिपिंग तो पहले भी होती थी अब भी होती है। मौसम या विद्युत लाईनों ने जीवों के संपर्क में आने के अलावा कई अलग-अलग कारणों से लाईन फाल्ट हो जाती है। इसके कारण ट्रिपिंग होती है, लेकिन लापरवाही अब कतई बर्दाश्त नहीं होगी।आऊटसोर्सिंग के जिन कर्मचारियों को हटाया। उनकी जगह ठेकेदार ने दूसरे भेज दिए तो कंपनी के अधिकारियों व कर्मचारियों के निलंबन अवधि में मुख्यालय डिवीजन बनाए है और उनके काम को अन्य को अतिरिक्त प्रभार देकर पूरा कराया जा रहा है। -डीएस चौहान, अधीक्षण यंत्री, मंदसौर