गत दिवस चुनाव आयोग ने मंदसौर सहित अन्य जिलों के कलेक्टरों की बैठक ली थी। जानकारी के अनुसार बैठक में बताया गया था कि अफीम उत्पादक क्षेत्रों वाले मंदसौर-नीमच जिले में चुनाव के समय कालेधन का इस्तेमाल किया जाता है। अफीम की तस्करी करने वाले लोग काफी पैसा लेकर आते है। इसकी आड़ में चुनाव में पैसे का उपयोग किया जाता है।
तस्करों का पैसा ना लगे इसलिए यह की तैयारी
जानकारी के अनुसार तस्करों के पैसा का उपयोग चुनाव में ना हो इसके लिए प्रशासन-पुलिस ने तैयारियां की है। जिसमें जितने भी एनडीपीएस एक्ट के तहत प्रकरण दर्ज हुए उन सभी प्रकरणों को खंगाल कर सूची बनाई है। इसमें कौन-कौन सा तस्कर किस दल से जुड़ा हुआ है। उसकी भी जानकारी निकाली जा रही है। तस्करों पर विशेष रूप से नजर रखी जाएगी। डोडाचूरा की ठेकेदारी किस किस ने की है। उनकी भी सूची बनाई गई है।
जगह-जगह चैकिंग के पाइंट भी
जानकारी के अनुसार प्रत्येक विधानसभा में चार फ्लाईग स्कवाइड टीम रहेगी। जिसमें मजिस्ट्रेट भी साथ रहेगें। इसके लिए विधानसभाओं में स्थाई चैकिंग पाइंट भी लगाए जाएंगे। अलग से लेखा दल लगाएं जाएंगे। इसके लिए अलावा २० नाके अंतराज्जीय, 14 अंतर जिला, सीसीटीवी कैमरे भी लगाए जाएंगे।
इनका कहना…
तस्करों की सूची बना ली गई है। जिन पर विशेष नजर रखी जाएगी। इसके लिए 107/116 और जिलाबदर की कार्रवाई भी की जाएगी। प्रत्येक विधानसभा पर फ्लाईग स्कवाइड, स्थाई पाइंट, लेखा दल सहित अन्य टीम भी कार्य करेगी।
– ओपी श्रीवास्तव, कलेक्टर मंदसौर।