मंदसौरPublished: Mar 26, 2019 07:46:45 pm
Jagdish Vasuniya
12 हजार की रिश्वत लेते हुए पकड़ाया ग्राम विस्तार अधिकारी
VIDEO # 12 हजार की रिश्वत लेते हुए पकड़ाया ग्राम विस्तार अधिकारी
मंदसौर । लोकायुक्त उज्जैन की टीम ने हाथकरघा के ग्राम उद्योग विस्तार अधिकारी को १२ हजार की रिश्वत लेते हुए रंगेहाथ पकड़ा है। सरकारी योजना में हितग्राही को मिलने वाले अनुदान की राशि जारी करने के लिए ग्राम उद्योग विस्तार अधिकारी जगदीश शर्मा रिश्वत की मांग कर रहे थे। लोकायुक्त ने रंगेहाथ पकड़ा। हाथ धुलवाए तो पानी रंगीन हो गया और पहनी हुईशर्ट की जेब में 500-500 रुपए के नोट रखे थे। वह शर्ट भी रंगीन हो गई। टीम ने वह भी जप्त की है। दो घंटे तक चली कार्रवाई के दौरान लोकायुक्त ने ब्रांड भरवाकर शर्मा को छोड़ दिया।फरियादी विभाग के अधिकारी को ५ हजार पहले दे चुका था, लेकिन वह फिर भी राशि जारी नहीं कर हे थे। वहीं रिश्वत के आरोपी शर्मा का कहना था कि इसी के परिवार के तीन प्रकरण थे।आसिफ, शब्बीर व सद्दाम। शब्बीर को राशि जारी हो गई। बाकी को बजट के अभाव में राशि जारी नहीं हुई। उन्हें गलत फंसाया गया।
यह हैपूरा मामला
मुख्यमंत्री स्वरोजगार योजना के अंतर्गत संचालित जिला हाथकरघा विभाग में ग्रामो उद्योग विस्तार अधिकारी जगदीश शर्मा ने सेमली के आसिफ से उसके स्वीकृत हुए लोन पर मिलने वाली १.५९ लाख के अनुदान राशि ट्रांसफर करने के नाम पर २० हजार की रिश्वत मांगी थी।५ हजार आसिफ दे चुका था।१५ और देना था, १२ में बात तय हुई। यही राशि आसिफ मंगलवार को देने आया। वह लोकायुक्त को पहले शिकायत कर चुका था। इसके चलते लोकायुक्त की पूरी टीम ने दफ्तर के बाहर ही घेराबंदी कर रखी थी। जैसे ही आसिफ ने राशि दी, वैसे ही लोकायुक्त ने वहां पहुंचकर रंगेहाथों पकड़ लिया और कार्रवाई को अंजाम दिया।
अनुदान राशि के लिए मांग रहे थे रिश्वत
सेमली निवासी फरियादी आसिफ मोहम्मद ने बताया कि स्वरोजगार योजना के तहत उसका ५ लाख ३० हजार का लोन हुआ है। इस योजना में १ लाख ५९ हजार की राशि उसे सरकार से अनुदान के तौर पर मिलना है।इस अनुदान राशि को खाते में ट्रांसफर करने के लिए अधिकारी जगदीश शर्मा रिश्वत मांग रहे थे। अनुदान राशि ट्रांसफर करने के लिए २० हजार की रिश्वत मांगी थी। इसमें से ५ हजार दे दिए थे। १५ और मांग कर रहे थे। इस पर १२ में बात तय हुई थी। १९ मार्च को शिकायत की थी। सेटिंग लगाने के तरापे लाने के लिए मैंने यह लोन लिया था। लेकिन अनुदान राशि में बेवजह लेटलतीफी करते हुए टाल रहे थे। इससे परेशान होकर मैंने शिकायत की थी।
बजट नहीं था
शर्मा ने बताया कि 5 हजार रुपए का आरोप झूठा है। इसके परिवार के तीन प्रकरण स्वीकृत हुई थी। इसमें शब्बीर को राशि जारी हो चुकी। आसिफ केा बजट के अभाव में राशि जारी नहीं हुई। यह बार-बार दबाव बना रहा था। अचानक आकर इसने रुपए दे दिए। मुझे गलत तरीके से फंसाया गया है।
अनुदान के लिए मांगी थी रिश्वत
शासन की योजना के तहत अनुदान राशि देने के लिए रिश्वत मांगने की शिकायत आसिफ ने 19 मार्च को की थी। इस पर यहां आकर कार्रवाई की।12 हजार की रिश्वत लेते ग्रामो उद्योग विस्तार अधिकारी को रंगेहाथ पकड़ा है। शर्ट भी रंगीन हो गई। ब्रांड भरवाकर छोड़ा गया है। -वेदांत शर्मा, डीएसपी, लोकायुक्त