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लोकसभा चुनाव 2019: इस सीट के लिए अखिल भारतवर्षीय ब्राह्मण महासभा ने किया बड़ा ऐलान…

locationमथुराPublished: Mar 06, 2019 04:39:10 pm

-एक अनुमान के तहत मथुरा लोकसभा सीट पर ब्राह्मण मतदाताओं की संख्या करीब 4.5 लाख जो मथुरा लोकसभा सीट पर भारी उलटफेर कर सकते है
 

मथुरा। जनपद में ठीकठाक मतदाता प्रतिशत होने के बाद भी कभी कोई ब्राह्मण प्रत्याशी लोकसभा चुनाव नहीं जीत सका है। विधान सभाचुनाव जीतने में पं.श्याम सुंदर शर्मा रिकॉर्ड कायम कर चुके हैं। वह आठ बार मांट विधानसभा क्षेत्र से चुनाव जीते हैं और इस दौरान सिर्फ एक बार चुनाव हारे हैं। वर्तामान में भी वह विधायक हैं। दूसरी और प्रदेश सरकार में ऊर्जा मंत्री श्रीकांत शर्मा मथुरा वृंदावन विधानसभा सीट से विधायक हैं। श्रीकांत शर्मा ने भी 2017 विधानसभा चुनाव में रिकॉर्ड मतों से जीत हासिल की।
ब्राह्मण मतदाताओं की संख्या करीब 4.5 लाख

ब्राह्मण चेहरे की बात करें तो पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी भी मथुरा लोकसभा सीट से चुनाव लड़े लेकिन जीत हासिल नहीं कर सके। प्रदेश में गृहमंत्री रहे लक्ष्मीरमण आचार्य ने भी किस्मत आजमाई, लेकिन चुनाव नहीं जीत सके। एक अनुमान के तहत वर्तमान में मथुरा में ब्राह्मण मतदाताओं की संख्या करीब 4.5 लाख है, जबकि कुल मतदाता 17 लाख से अधिक हैं। ब्राह्मण समाज की यह टीस अब खुलकर सामने आ रही है।
Brahmin
ब्राह्मण समाज राजनीतिक दलों के लिए मोहरा

अखिल भारतवर्षीय ब्राह्ण महासभा ने इस बात का ऐलान कर दिया है कि इस बार ब्राह्मण मतदाता उसी पार्टी के साथ जाएगा जो ब्राह्मण प्रत्याशी को टिकट देकर चुनाव मैदान में उतारेगी। जिलाध्यक्ष पंडित रमेश दत्त दीक्षित ने कहा कि ब्राह्मण समाज राजनीतिक दलों के लिए मोहरा रहा है। उन जातियों के प्रत्याशी भी यहां से जीते हैं जिनकी मतदाता संख्या अंगुलियों पर गिनने लायक है। जब पार्टी हमारे प्रत्याशी को टिकट ही नहीं देंगी तो जीतेंगे कैसे। अभी तक राजनीतिक दलों ने गिने-चुने ब्राह्मण प्रत्याशियों को ही टिकट दिया है।
ब्राह्मण समाज के साथ हमेशा छलावा

राष्ट्रीय प्रवक्ता बिहारी लाल वशिष्ठ का कहना है कि राजनीतिक दलों द्वारा ब्राह्मण समाज के साथ हमेशा छलावा किया गया है। इस लोकसभा चुनाव में ब्राह्मण एकता की गूंज उत्तर प्रदेश ही नहीं संपूर्ण देश में सुनाई देगी। पिछले कुछ सालों में ब्राह्मण एकता का अद्भुत परिदृश्य देखने को मिला है। वृंदावन में आयोजित हुए विप्र महाकुंभ में ब्राह्मणों के सभी संगठन एक मंच पर जुटे थे। धर्म नगरी से ब्राह्मण एकता का यह संदेष देश भर में गया था। इस दौरान महानगर अध्यक्ष कृष्णमुरारी दीक्षित, युवा ब्राह्मण महासभा के संस्थापक अध्यक्ष राजेश पाठकस डॉ. आशुतोष भारद्वाज, बृजकिशोर गोस्वामी, रामविलास चतुर्वेदी, अनुपम गौतम, आशीष चतुर्वेदी, राजेन्द्र दत्त आचार्य, शरद गौतम आदि न भी मांग की है कि मथुरा लोकसभा सीट से ब्राह्मण प्रत्याशी को टिकट दिया जाए।
ये हैं ब्राह्मण समाज के चुनावी मुद्दे

-अन्य प्रांतों की भांति उत्तर प्रदेश में भी ब्राह्मण आयोग का गठन किया जाए।

-सनातन धर्म की रक्षा के लिए ब्रह्मनिन्दा कानून बनाया जाए।

-जातिगत आरक्षण को समाप्त कर पूर्व की भांति समाज में भाईचारा स्थापित किया जाए।
-मेवात विकास बोर्ड की जगह बृज विकास बोर्ड का गठन किया जाए

-मथुरा को तीर्थस्थल घोषित किया जाए।

-श्राइन बोर्ड गठन के फैसले को सरकार वापस ले।

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