आतंकवादियों का कोई मजहब नहीं होता
किशन दास महाराज जी ने आतंकवादियों की गतिविधियों अपने विचार प्रकट करते हुए कहा आतंकवादियों का कोई मजहब नहीं होता और ये लोग अपने निजी स्वार्थ के लिए यह सब करते हैं। जो पैसे वाले होते हैं वह अपना अस्तित्व दिखाने के लिए, इस तरह की गतिविधियां देश में कराते हैं, ताकि देश में भय का माहौल बना रहे। इन लोगों में आस्था नहीं होती है और आतंकवादियों का कोई मजहब नहीं होता। इस्लाम में यह नहीं कहा गया है कि वे किसी मंदिर या मस्जिद पर हमला करें या बेगुनाहों की जान लें। यह लोग मजहब को मानने वाले नहीं हैं। मंदिर और मस्जिद तोड़ने से समस्याओं का हल नहीं हो सकता। समस्या का अगर हल है तो वह आपसी भाईचारा बना कर रहना और एक दूसरे के सुख दुख में सहायता करना ।
किशन दास महाराज जी ने आतंकवादियों की गतिविधियों अपने विचार प्रकट करते हुए कहा आतंकवादियों का कोई मजहब नहीं होता और ये लोग अपने निजी स्वार्थ के लिए यह सब करते हैं। जो पैसे वाले होते हैं वह अपना अस्तित्व दिखाने के लिए, इस तरह की गतिविधियां देश में कराते हैं, ताकि देश में भय का माहौल बना रहे। इन लोगों में आस्था नहीं होती है और आतंकवादियों का कोई मजहब नहीं होता। इस्लाम में यह नहीं कहा गया है कि वे किसी मंदिर या मस्जिद पर हमला करें या बेगुनाहों की जान लें। यह लोग मजहब को मानने वाले नहीं हैं। मंदिर और मस्जिद तोड़ने से समस्याओं का हल नहीं हो सकता। समस्या का अगर हल है तो वह आपसी भाईचारा बना कर रहना और एक दूसरे के सुख दुख में सहायता करना ।
सच्चे मुसलमान वो हैं…
काशी विद्युत परिषद के प्रभारी नागेंद्र गोड ने अपनी प्रतिक्रिया देते हुए कहां आतंकी केवल यह चाहते हैं कि उनका देश में नहीं बल्कि पूरे विश्व में उनका राज्य स्थापित हो। सब लोग उनसे डरें, इनका जो काम है वह है दहशत फैलाना है। जो सच्चा मुसलमान होता है वह कभी इस तरह की कृत्य नहीं करता और चाहे वह हिंदू हो चाहे वह मुस्लिम हो चाहे वह सिख हो चाहे इसाई हो। वह किसी धर्म के ऊपर अत्याचार नहीं करता। अत्याचार करता है केवल आतंकवादी, जिसका कोई ईमान नहीं होता है, कोई मजहब नहीं होता है। सच्चा मुसलमान कभी देश के विरुद्ध नहीं जाएगा।
काशी विद्युत परिषद के प्रभारी नागेंद्र गोड ने अपनी प्रतिक्रिया देते हुए कहां आतंकी केवल यह चाहते हैं कि उनका देश में नहीं बल्कि पूरे विश्व में उनका राज्य स्थापित हो। सब लोग उनसे डरें, इनका जो काम है वह है दहशत फैलाना है। जो सच्चा मुसलमान होता है वह कभी इस तरह की कृत्य नहीं करता और चाहे वह हिंदू हो चाहे वह मुस्लिम हो चाहे वह सिख हो चाहे इसाई हो। वह किसी धर्म के ऊपर अत्याचार नहीं करता। अत्याचार करता है केवल आतंकवादी, जिसका कोई ईमान नहीं होता है, कोई मजहब नहीं होता है। सच्चा मुसलमान कभी देश के विरुद्ध नहीं जाएगा।
पाकिस्तान केवल रक्त बहाना जानता है
स्वामी महेशानंद का कहना है कि मंदिर और मस्जिद तोड़ने से ना समस्या हल हुई और ना ही कभी समस्या का हल होगी। आतंकवादी जो होते हैं उनको बढ़ावा दिया जाता है। पाकिस्तान धर्म स्थलों को तोड़ने का प्रतिकार देता है और जब वह धर्म स्थलों को तोड़ते हैं और आतंकवादी गतिविधियों की जो जड़ हैं वह पाकिस्तान से निकली हुई हैं।
स्वामी महेशानंद का कहना है कि मंदिर और मस्जिद तोड़ने से ना समस्या हल हुई और ना ही कभी समस्या का हल होगी। आतंकवादी जो होते हैं उनको बढ़ावा दिया जाता है। पाकिस्तान धर्म स्थलों को तोड़ने का प्रतिकार देता है और जब वह धर्म स्थलों को तोड़ते हैं और आतंकवादी गतिविधियों की जो जड़ हैं वह पाकिस्तान से निकली हुई हैं।