UP Shiksha Mitra ने Supreme Court के फैसले के खिलाफ मुख्यमंत्री के नाम कलेक्ट्रेट में सौंपा ज्ञापन।
Shiksha Mitra
Mathura News – Samayojit Shiksha Mitra पर सुप्रीम कोर्ट का फैसला उन्हें रास नहीं आ रहा है। इसको लेकर जगह—जगह वे प्रदर्शन और नारेबाजी करते नजर आ रहे हैं। इसी कड़ी में मथुरा के सैकड़ों शिक्षामित्र भी कलक्ट्रेट पहुंचे। उन्होंने मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपा।
एक काम एक भुगतान की मांग
एक काम एक भुगतान की मांग कर रहे आदर्श समायोजित शिक्षक (शिक्षामित्र) वेलफेयर एसोसिएशन ने कोर्ट के फैसले को समायोजित शिक्षकों के हितों के विरुद्ध बताया है। मंगलवार को आए Supreme Court के आदेश से मथुरा जनपद में करीब 22 समायोजित अध्यापक प्रभावित हुए हैं। जैसे ही न्यायालय के आदेश की सूचना समायोजित अध्यापकों को मिली तो सभी Samayojit Shiksha Mitra के होश उड़ गए। बुधवार को सुबह से ही समायोजित अध्यापक भगत सिंह पार्क डैम्पीयर नगर पर जुटने लगे और दोपहर 3 बजे तक करीब चार सौ प्रभावित सहायक अध्यापक कलक्ट्रेट पर पहुंच गये। नारेबाजी करते हुए उन्होंने प्रदेश सरकार से उनके हित में कदम उठाने की मांग की।
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प्रदेश स्तर पर आंदोलन
UP Shiksha Mitra वेलफेयर एसोसिएशन के जिलाध्यक्ष दुष्यंत कुमार ने बताया कि अगर प्रदेश सरकार उनके हितों का ध्यान नहीं रखती है तो प्रदेश स्तर पर आंदोलन किया जायेगा। फिलहाल प्रभावित सहायक अध्यापकों ने गुरुवार से कलक्ट्रेट पर धरना शुरू करने की बात कही है।
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ये है मांग
Shiksha Mitra ने प्रदेश सरकार से मांग की है कि वह समायोजित शिक्षामित्रों के हितों को ध्यान में रखते हुए सुप्रीम कोर्ट में पुन:विचार याचिका दाखिल करे, संविधान पीठ में फैसले के विरुद्ध अपील करने तथा समान कार्य समान वेतन नीति तत्काल लागू करने जैसे विकल्पों पर विचार करने की अपील की है। सुप्रीम कोर्ट के इस फैसले से प्रभावित समायोजित अध्यापकों ने कलक्ट्रेट पहुंच कर अपनी मांगों के पक्ष में मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपा। जिलाधिकारी की गैर मौजूदगी में एडीएम वित्त एवं राजस्व रविंद्र कुमार ने ज्ञापन लिया।
दो मौके दिए जाएंगे
सुप्रीम कोर्ट ने समायोजित शिक्षकों को टीईटी (TET) परीक्षा पास करने का विकल्प दिया है। इसके लिए ऐसे उम्मीदवारों को दो मौके दिये जाएंगे। Supreme Court ने इलाहाबाद हाईकोर्ट के फैसले को पलटते हुए यह निर्णय सुनाया। इससे पहले Allahabad High Court समायोजन को नियम विरुद्ध करार दे चुका है। समायोजन के बाद शिक्षा मित्र से सहायक अध्यापक बने अभ्यर्थियों ने सुप्रीम कोर्ट के फैसले के खिलाफ प्रदेश सरकार से कुछ कदम उठाने की मांग की है ।