अब बात लोकसभा क्षेत्र के विकास की करे तो सबसे पहले हम वर्तमान बीजेपी के सासंद हरीनाराणण ने पिछले सवा चार वर्षों में सासंद जी ने क्या विकास किया है, सवाल पर सासंद ने बताया कि, उनके द्वारा इलाके में विकास के कार्य तो किए ही गए हैं। इसके अलवा केन्द्र और राज्य की सरकारो के द्वारा चलाये जा रहे विकास कार्यों को जनता तक सीधे पहुंचाने के काम किया जा रहा है । हालांकि बीजेपी सासंद का मानना है कि, 2019 के लोकसभा के आम चुनाव में उनकी पार्टी सरकार के द्वारा कराये हुए विकास कार्याों को दम पर चुनाव लड़ेगी । हालांकि सरकार की तरफ से कितनी योजनाए हैं उसके बारे में सासंद जी सोच में पड़ जाते हैं।
भारतीय जनता पार्टी जहां 2019 के चुनाव में अपने विकास कार्यो के दम पर चुनावी मैदान में जाने की तैयारी कर रही है तो वहीं सपा के जिलाध्यक्ष धर्मप्रकाश यादव बताते हैं कि, सपा की सरकार में जो विकास हुआ है उसके दम पर हम चुनावो में जाने की तैय्यारी में जुटे हुए है तो वहीं सपा और बसपा के गठबन्धन का बहुत बड़ा असर दिखाई पड रहा है।
फिलहाल पूर्वांचल की राजनीति में विकास के साथ साथ जातियों के गठजोड़ का गठबन्धन बहुत ही मायने रखता है। जनपद की राजनीति करने वाले सपा बसपा नेताओं की माने तो 2019 के लोकसभा चुनाव से पहले अगर गठबन्धन होता है निश्चित ही जीत गठबन्धन के खेमें जायेगी। कांग्रेस की तरफ से जिलाध्यक्ष अवनीश सिहं 2019 के लोकसभा चुनाव पर बात करते हुए बताते हैं कि, जनपद का जो भी विकास हुआ है वह कांग्रेस के ही समय में हुआ है। फिलहाल जिले की जनता विकास कार्यों को देखते हुए इस बार वोट करने का काम करेगी।
कांग्रेस और बीजेपी अपने विकास कार्यों के दम पर जनता के बीच पहुंचने के कामों में जुटा हुआ है। कांग्रेस भूतपूर्व विकास के दम पर जनता के विच में जाने की सोच रही है तो बीजेपी वर्तमान विकास कार्यों के दम पर और सपा बसपा गठबन्धनत के जातियों समीकरण पर जीत के दावे कर रही है।
बाहुबली विधायक मुख्तार अन्सारी को लेकर चर्चा 2017 में हुए विधानसभा चुनाव से ठीक पहले जिस तरह से मऊ जनपद की राजनीति सदर विधानसभा के बाहुबली विधायक मुख्तार अन्सारी को लेकर चर्चा के केन्द्र बिन्दू में आ गयी थी। समाजवादी पार्टी के शिर्षस्त नेता शिवपाल यादव मुख्तार अन्सारी को पार्टी में शामिल कराते हैं और अखिलेश यादव मुख्तार अन्सारी बन्धुओं को पार्टी के बाहर का रासता दिखा देते हैं। फिलहाल एक तरफ अन्सारी बन्धुओ को लेकर जहाँ अखिलेश यादव उनके उपर दर्ज आपराधिक मामलो को देखते हुए पार्टी से बाहर का रास्ता दिखा देते है तो वही उसी अन्सारी बन्धुओं को मायावती पार्टी में यह करते हुए शामिल करा लेती हैं कि, उनकी छवि को खराब करने की कोशिस विरोधियों के द्वारा किया गया है।
फिलहाल सपा बसपा के गठबन्धन में जिस पूर्वाचल की राजनीति मुख्तार अन्सारी बन्धुओं को चर्चा में रहता है तो इस बार जब गठबन्धन होगा तो आन्सारी बन्धुओं का क्या होगा, फिलहाल 2019 को जीतने के लिए सभी तैयारियों में अभी जुटते नजर आ रहे हैं। हालांकि अन्सारी बन्धु को पार्टी की तरफ से जो भी जि्म्मेदारी दी जायेगी उसको पूरा करने का काम किया जायेगा।