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26/11 हमले की बरसी: ताज होटल में डिनर कर रही थी ये महिला, किचन में छिपकर बचाई थी जान

locationमेरठPublished: Nov 26, 2020 06:03:36 pm

Submitted by:

Rahul Chauhan

Highlights
-होटल ताज में हमले के दौरान डिनर कर रही थी मेरठ की ये महिला
-मां और बहनों के साथ कर रही थी होटल ताज में डिनर
-रात दो बजे तक गोलियों के बीच किचन में छुपकर बचाई थी जान

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पत्रिका न्यूज नेटवर्क

मेरठ। मुंबई में 26/11 हमले का गवाह मेरठ भी रहा है। मुंबई में जब ताज होटल पर आतंकी हमला हुआ था। उस दौरान मेरठ की डा. मुक्ति भटनागर अपने कुछ परिजनों के साथ होटल ताज में डिनर कर रही थीं। उस समय उनके साथ उनकी मां और लंदन से आई बहनें भी साथ में थीं। उनके अनुसार साल में यह दिन आने पर वे उस घटना को सोचकर ही कांप उठती हैं। उन्होंने बताया कि मुंबई हमले के इतने साल बाद भी उनके पास जांच एजेंसियों के फोन आते रहते हैं। जो कि घटना के बारे में पूछते रहते हैं। वह कहती हैं कि वे इस घटना को भूलना चाहती हैं लेकिन जब जांच एजेंसियों के फोन आते हैं तो घटना फिर से उनके जेहन में ताजा हो जाती है।
हुआ तेज धमाका और भागे किचन की ओर:-

डा. मुक्ति के अनुसार वे अपनी मां और बहनों के साथ पहले गेट वे आफ इंडिया गईं थी। उसके बाद होटल ताज में डिनर खाने का प्रोग्राम तय हुआ। होटल ताज में वह अपनी मां और बहनों के साथ स्नेक्स का मजा ले रही थीं। इसी दौरान बाहर से गोलियां चलने की आवाजें आनी लगी और तेज धमाका हुआ। इसके बाद चारों ओर अफरा-तफरी मच गई। धुंए का गुबार और लोगों की चींख पुकार के बीच वे अपनी मां और बहनों के साथ किचन की ओर भागीं। वहां पर उन्होंने टेबल के नीचे छिपकर अपनी जान बचाई। उन्होंने बताया कि दो लोग गोलियां चलाते हुए किचन की ओर आए और किसी को न पाकर ऊपर मंजिल की ओर चले गए।
चारों ओर अंधेरा और उर्दू में बात कर रहे थे आतंकी:-

उन्होंने बताया कि होटल ताज में पूरी तरह से अंधेरा हो गया। कुछ लोग उर्दू में बात कर रहे थे। दो लोगों के हाथ में गन थी और उनके कमर पर काले रंग के बैग टगे हुए थे। उन्होंने कहा कि ताज होटल के आसपास का नेटवर्क जाम कर दिया गया था। हमले के दस मिनट के भीतर ही पुलिस और एटीएस ने पूरे होटल को घेर लिया था। रात में दो बजे वो लोग कमांडो के आने पर सुरक्षित निकल सके।
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