एनसीआरटीसी ने इसकी खासियत के बारे में बताया कि यह पहली अत्याधुनिक प्रणाली वाली देश की ट्रेन होगी जो कि स्टेनलेस स्टील से बनी एयरोडायनामिक ढाचे के अनुसार बनी होगी। ट्रेन हल्के होने के साथ-साथ पूरी तरह से एयरकंडीशन होंगी। इसके प्रत्येक कोच में प्रवेश और निकास के लिए ‘प्लग-इन’ प्रकार के छह स्वचालित दरवाजे होंगे। रैपिड रेल के बिजनेस क्लास कोच में ऐसे चार दरवाजे होंगे। इसके अलावा इनमें सीटों की व्यवस्था टू बाई टू के आधार पर की गई है। वहीं ट्रेन के बिजनेस क्लास में रिक्लाइन सीटें होंगी।
रैपिड रेल में सुरक्षा, आराम और सुविधा का ध्यान रखा गया है। इसे इस तरह डिजाइन किया गया है कि खड़े होकर भी यात्री आराम से सफर कर सकें। दोनों तरफ की सीटों के बीच में पर्याप्त जगह , सामान रखने का रैक बनेगे। इसके अलावा सभी कोच में चार्जिंग सॉकेट के अलावा वाई फाई की सुविधा भी यात्रियों को मिलेगी।
केंद्रीय आवास एवं शहरी विकास मंत्रालय के सचिव दुर्गाशंकर मिश्रा ने कहा कि इंफ्रास्ट्रक्चर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के आत्मनिर्भर भारत के पांच स्तंभों में से एक है। आरआरटीएस ट्रेन पूरी तरह से भाजपा सरकार की मेक इन इंडिया नीति के तहत बन रही हैं। आरआरटीएस ट्रेन का पहला प्रोटोटाइप 2022 तक बन जाएगा। इसमें 6 कोच के 30 ट्रेन सेट और मेरठ में स्थानीय परिवहन सेवाओं के लिए 3 कोच के 10 ट्रेन सेट पहले किश्त में खरीदे जाएंगे।