मौसम वैज्ञानिकों का यह भी मानना है कि कुछ इलाकों से मानसून दो दिन पूर्व ही जा चुका है, लेकिन अभी उत्तर भारत के कुछ राज्यों में इसकी सक्रियता अभी तीन दिन और बनी रहेगी। हालांकि, मानसून की विदाई से पहले बारिश के आसार फिलहाल न के बराबर हैं। उन्होंने बताया कि इस बार मानसून की बारिश (Rain) ने पिछले सभी रिकॉर्ड ध्वस्त कर दिए हैं।
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अगले 24 घंटे इन जिलों में भारी बारिश की चेतावनी, ठंड को लेकर भी अलर्ट जारी अमूमन 28 सितंबर तक उत्तर भारत से विदा होता है मानसून मौसम वैज्ञानिक डॉ. एन सुभाष के मुताबिक, अमूमन 28 सितंबर तक उत्तर भारत के ज्यादातर राज्यों से मानसून चला जाता है, लेकिन इस बार मानसून की सक्रियता 10 दिन बाद तक भी जारी रही। इसका ही असर रहा कि अक्टूबर में कई इलाकों में तेज हवाओं के साथ बारिश देखने को मिली। अगले तीन दिन में मानसून की सक्रियता पूरी तरह समाप्त हो जाएगी। मौसम विज्ञान केंद्र के निदेशक विक्रम सिंह के अनुसार, मानसून के कमजोर पड़ने के साथ ही अब उत्तर-पश्चिम हवाओं का दबाव तेजी से बढ़ा है।
सितंबर में ही 221 मिलीमीटर बारिश मौसम विभाग के अनुसार इस साल मेरठ में रिकॉर्ड 839 मिलीमीटर बारिश हुई है, जो औसत से दो फीसदी अधिक है। सितंबर में ही 221 मिलीमीटर बारिश दर्ज की गई है, जिसने पुराने सभी रिकॉर्ड तोड़ डाले हैं। इस बार बारिश का दौर मई में शुरू हुआ, लेकिन मानसून जून में आया, जो कि अब विदा लेने की तैयारी में है।