26 करोङो रूपये के शासकीय अनुदान का आय-व्यय रजिस्टर गायब होने के बाद आशंका जताई जा रही कि कहीं पालिका के काम में करोङो रूपये का वारा न्यारा तो नही किया गया है।
बीजेपी
मिर्ज़ापुर. जिला नोडल अधिकारी के निरीक्षण के दौरान 26 करोङ रूपये के आय-व्यय का लेजर रजिस्टर गायब होने के मामले में अब डैमेज कंट्रोल के लिए नगरपालिका अध्यक्ष खुद मैदान में उतर कर सफाई देते हुए नजर आ रहे हैं। हालांकि उनके पास भी इसका जबाब नहीं कि आखिर आय -व्यय का गायब लेखा जोखा कहां है। वहीं नगरपालिका ने इस मामले में लापरवाही बरतने पर पालिका के आठ कर्मचारियों का वेतन रोक कर पूरे मामले की जांच नगरपालिका के अधिशासी अधिकारी को दिया है। पूरे मामले में 26 करोङ रूपये का गायब हिसाब रहस्य बना हुआ है। पिछले छह सालों से नगर पालिका में काबिज भाजपा के शासन काल मे हुए 26 करोङो रूपये के शासकीय अनुदान का आय-व्यय रजिस्टर गायब होने के बाद आशंका जताई जा रही कि कहीं पालिका के काम में करोङो रूपये का वारा न्यारा तो नही किया गया है।
पिछले छह साल से मिर्जापुर नगर पालिका पर बीजेपी का कब्जा है IMAGE CREDIT: Patrika खुद निरीक्षण करने वाले जिले के नोडल अधिकारी सुरेंद्र विक्रम सिंह भी बड़े घोटाले की आशंका जाता रहे हैं। हालांकि 26 करोङ रूपये के आय-व्यय की फाइल गायब होने के मामले में आज नगरपालिका के अध्यक्ष मनोज जायसवाल ने आज नगरपालिका में सफाई देते हुए कहा कि पूरे मामले में नगरपालिका की छवि प्रभावित हुई है। पूरे मामले में नगर पालिका अध्यक्ष ने नगरपालिका के अधिशासी अभियंता विनय कुमार तिवारी को जांच अधिकारी बनाया है। पूरे मामले की जांच आख्या एक हफ्ते में देने का निर्देश दिया गया है। वहीं लापरवाही पर कार्रवाई करते हुए नगरपालिका ने लेखाकार देवेंद्र कुमार सिंह, लिपिक अवधेश कुमार यादव, मुकेश गुप्ता, लिपिक महेंद्र प्रताप सिंह, संजय श्रीवास्तव, राजस्व निरीक्षक दयाशंकर यादव, लिपिक राजाराम मिश्रा व कर समाहर्ता सुरेंद्र पाठक का वेतन अगले आदेश तक रोकने का निर्देश दिया है। नगरपालिका के मुताबिक यह सभी नगरपालिका में लेखा विभाग, रिकॉर्ड रूम, पालिका राजस्व व किराया विभाग और पालिका में फार्म-5 की उपलब्धता व इसके रख-रखाव के जिम्मेदार हैं। एक दिन पहले नोडल अधिकारी की जांच में इनके कार्यो में लापरवाही पायी गयी है। फिलहाल नगर पालिका के पास 26 करोङ के रजिस्टर गायब होने के मामले में कार्रवाई की जगह छोटे छोटे मामलों में कार्रवाई कर लीपापोती का कार्य कर रही है।