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एसटीएफ की कार्रवाई : नकल कराते प्रधानाचार्य गिरफ्तार, प्रबंधक फरार

locationमिर्जापुरPublished: Feb 17, 2018 08:58:16 pm

Submitted by:

Ashish Shukla

प्रश्न पत्र हल करते दो अध्यापक भी चढ़े एसटीएफ के हत्थे

Principle Arrest

प्रधानाचार्य समेत तीन गिरफ्ततार

मिर्ज़ापुर. यूपी बोर्ड की परीक्षा नकलविहीन कराने के दावे की शनिवार को एसटीएफ की छापेमारी ने कलई खोल दी। जनपद के जिगना स्थित बाबू घनश्याम सिंह इंटर कॉलेज में हाईस्कूल के सामाजिक विज्ञान की परीक्षा के दौरान वाराणसी की एसटीएफ टीम ने निरीक्षक अमित श्रीवास्तव के नेतृत्व में छापेमारी कर नकल कराते प्रधानाचार्य समेत तीन अध्यापकों को गिरफ्तार कर लिया। वहीं कॉलेज प्रबंधक फरार बताया जाता है।
गौरतलब है कि एसटीएफ ने सुबह जब छापा मारा, तब परीक्षा केंद्र में बने छात्राओं के तीन कमरों में सॉल्वर लगा कर नकल करवाया जा रहा था। इसके लिए बाकायदा प्रिंटर मशीन और गाइड के साथ ही कार्बन कॉपी का भी इस्तेमाल किया जा रहा था। नकल कराने के लिए नकल माफियाओं ने पहले से ही तैयारी कर ली थी।जिसके लिए सीसीटीवी को कमरे में ऐसी जगह लगाया गया, जिससे उसके पीछे होकर नकल करवाया जा सके और सीसीटीवी से बचा जा सके। पुलिस के अनुसार छापे के दौरान केंद्र पर ऑब्जेक्टिव प्रश्नों को हल करवाया जा रहा था। एसटीएफ ने कॉलेज के प्रधानाचार्य प्रदीप कुमार सिंह निवासी सिहावल, बघेड़ा निवासी लल्लन प्रसाद और तिवारीपुर निवासी जितेन्द्र को गिरफ्तार कर लिया। पुलिस हिरासत में लिए गए अध्यापक लल्लन ने परीक्षा में नकल कराने की बात को कबूल करते हुए इसके लिए केंद्र व्यवस्थापक को जिम्मेदार बताया। वहीं, एसटीएफ के निरीक्षक अमित श्रीवास्तव ने बताया कि विद्यालय से गिरफ्तार किए गए लोगों में कॉलेज के प्रिंसिपल प्रदीप कुमार सिंह निवासी सिहावल और अध्यापकों में बघेड़ा का लल्लन प्रसाद और तिवारीपुर का जितेंद्र है। इनमें से एक तो इसी कालेज का है और दूसरा सम्राट अशोक इंटर कॉलेज का। जबकि प्रबंधक उर्मिला सिंह और उसके पति घनश्याम सिंह की तलाश की जा रही है।

प्रबंधक का बेटा ही है प्रिंसिपल

गिरफ्तार प्रधानाचार्य प्रदीप कॉलेज की प्रबंधक उर्मिला सिंह का पुत्र बताया जाता है। एसटीएफ के अनुसार प्रदीप सिंह ही नकल के गोरखधंधे का मास्टर माइंड है।


छात्रों से हुई थी मोटी रकम की वसूली
नकल कराने के लिए छात्रों से मोटी रकम वसूली गई थी। प्रत्येक छात्र से 30 से 40 हजार रुपये वसूले गए थे। वहीं, प्रत्येक सॉल्वर को प्रश्नपत्र हल करने के लिए पांच हजार रुपये दिए जाते थे। इसके लिए सॉल्वर स्कूल के बगल में ही आईटीआई में परीक्षार्थियों की कॉपी लिखी जाती थी, जिसे बाद में परीक्षार्थियों की कॉपी के साथ नत्थी कर दिया जाता था। एसटीएफ के हत्थे चढ़े दोनों अध्यापक सामाजिक विज्ञान के अध्यापक है, जिन्हें प्रश्न पत्र हल करने के लिए ही बुलाया गया था। गिरफ्तार किए गए तीनों के खिलाफ जिगना थाने में नकल विहीन अनुचित साधन प्रयोग निवारण अधिनियम और धारा 409 के तहत मुकदमा पंजीकृत कर लिया गया है। एसटीएफ की छापेमारी के बाद क्षेत्र के परीक्षा केंद्रों पर अफरा-तफरी मची रही।
By : Suresh Singh

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