कहा, कांग्रेस की मूल विचारधारा के खिलाफ बता दिया।
अधीर रंजन चौधरी ने कहा कि गठबंधन पार्टी नेतृत्व की मंजूरी से हुआ है।
आनंद शर्मा
नई दिल्ली। पश्चिम बंगाल में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) और तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) ने पूरी ताकत झोंक दी है तो दूसरी तरफ देश की सबसे पुरानी पार्टी कांग्रेस के भीतर घमासान चल रहा है। वाम दलों के साथ मिलकर चुनाव लड़ रही कांग्रेस ने अब्बास सिद्दीकी की पार्टी इंडियन सेक्युलर फ्रंट (आईएसएफ) से गठबंधन किया है। इस पर कांग्रेस के वरिष्ठ नेता आनंद शर्मा ने पार्टी की विचारधारा को लेकर लिए इस फैसले पर सवाल खड़े किए है।
कांग्रेस ने दोबारा उठाया सवाल, पीएम ने पहले क्यों नहीं लगवाया कोरोना टीका वहीं, आनंद शर्मा को जवाब देते हुए कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी ने कहा कि गठबंधन पार्टी नेतृत्व की मंजूरी से हुआ है। कांग्रेस के नाराज नेताओं के समूह ‘G-23’ के सदस्य आनंद शर्मा ने ट्वीट कर कहा कि आईएसएफ और ऐसे अन्य दलों से साथ कांग्रेस का गठबंधन पार्टी की मूल विचारधारा, गांधीवाद और नेहरूवादी धर्मनिरपेक्षता के खिलाफ है, जो कांग्रेस पार्टी की आत्मा है।
आनंद शर्मा ने कहा कि ‘ इन मुद्दों को कांग्रेस कार्य समिति पर चर्चा होनी चाहिए थी। उन्होने अगले ट्वीट में कहा कि सांप्रदायिकता के खिलाफ लड़ाई में कांग्रेस चयनात्मक नहीं हो सकती है। हमें हर सांप्रदायिकता के हर रूप से लड़ना है। पश्चिम बंगाल प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष की उपस्थिति और समर्थन शर्मनाक है, उन्हें अपना पक्ष स्पष्ट करना चाहिए।’