आपको बता दें कि देश में करीब 62 छावनियां हैं। जहां पर आर्मी ऑफिशियल के अलावा आम लोग भी रहते हैं। वहां पर म्यूनिसिपल सुविधाओं को लागू करने के लिए छावनी बोर्ड होता है। जिसकी हर महीने में मीटिंग होती हैै। जहां चेयरमैन और इलेक्टिड वाइस चेयरमैन आम लोगों की सुविधाओं के लिए फैसले लेते हैं। इन फैसलों में आम जनता से चुने हुए मेंबर्स भी हिस्सा लेते हैं। इस बोर्ड में क्षेत्र का विधायक और सांसद भी मेंबर होते हैं। आपको बता दें कि देश की सबसे बड़ी छावनी अंबाला है, उसके बाद मेरठ का नंबर आता है।