जानिए कौन हैं पूर्व विदेश सचिव एस जयशंकर, मोदी कैबिनेट में मिली जगह
बता दें श्रद्धालुओं को रवाना करते हुए एस. जयशंकर ने इस यात्रा से जुड़े अपने निजी अनुभव भी साझा किए। उन्होंने बताया कि चीन के राजदूत रहने के दौरान साल 2012 में कैलाश मानसरोवर की यात्रा की थी। कैलाश मानसरोवर तिब्बत में कैलाश माउंटेन रेंज में 21,778 फीट की ऊंचाई पर स्थित है। हिंदू इसे भगवान शिव का निवास स्थान मानते हैं। जयशंकर ने कहा कि इस तीर्थयात्रा को लेकर लोगों की रुचि लगातार बढ़ती जा रही है।
12 जून से 8 सितंबर तक चलेगी यात्रा
प्राप्त जानकारी के मुताबिक, 12 जून से कैलाश मानसरोवर यात्रा शुरू हो रही है, जो आठ सितंबर तक चलेगी। यात्रा को लेकर प्रशासन पूरी तरह से मुस्तैद है। पूरी तैयारियां पूरी कर ली गई हैं। यात्रा के लिए रवाना हुआ पहला जत्था दिल्ली से उत्तराखंड़ पहुंचेगा। इसके बाद हल्द्वानी और अल्मोड़ा पहुंचेगा। यहां यात्रियों का भव्य स्वागत किया जाएगा। बता दें कि इस साल कैलाश मानसरोवर यात्रा में 18 दल शामिल होंगे। एक दल में कम से कम 60 यात्री होंगे। इस दल का नेतृत्व विदेश मंत्रालय की ओर से किया जाएगा।
शिव-पार्वती का घर कैलाश मानसरोवर
हर साल हजारों श्रद्धालु कैलाश मानसरोवर यात्रा करते हैं। बता दें कि कैलाश मानसोवर को शिव और पार्वती का घर माना जाता है। पौराणिक मान्यताओं के अनुसार मानसरोवर के पास स्थित कैलाश पर्वत पर शिव का धाम है। यही पर वह जगह है जहां भगवान शिव विराजते हैं। पुराणों की माने तो यहां शिवजी का स्थायी निवास है। इसलिए इस स्थान को 12 ज्येतिर्लिगों में सर्वश्रेष्ठ माना गया है।