scriptकिसान आंदोलन का समर्थन कर रहे संत बाबा राम सिंह ने खुद को मारी गोली, सुसाइड नोट में लिखी ये बात | Farmer Protest: Sant Baba Ram Singh shot and killed in favor of farmer movement | Patrika News

किसान आंदोलन का समर्थन कर रहे संत बाबा राम सिंह ने खुद को मारी गोली, सुसाइड नोट में लिखी ये बात

locationनई दिल्लीPublished: Dec 16, 2020 08:19:46 pm

Submitted by:

Anil Kumar

HIGHLIGHTS

Farmer Protest: सिंघु बॉर्डर पर किसानों के धरने में शामिल संत बाबा राम सिंह ( Baba Ram Singh ) ने बुधवार को खुद को गोली मारकर आत्महत्या कर ली।
आत्महत्या से पहले बाबा राम सिंह एक सुसाइड नोट ( Sucide Note ) भी लिखा है। अपने सुइसाइड नोट में उन्होंने किसान आंदोलन की बात करते हुए किसानों के हक के लिए आवाज बुलंद की है।

sant_ram_singh.jpg

Farmer Protest: Sant Baba Ram Singh shot and killed in favor of farmer movement

नई दिल्ली। मोदी सरकार ( Modi Government ) की ओर से लागू किए गए तीन कृषि कानूनों ( Farm Law ) के खिलाफ किसानों का प्रदर्शन लगातार 21वें दिन भी जारी है। दिल्ली बॉर्डर ( Delhi Border ) पर सैंकड़ों की संख्या में किसान डटे हुए हैं और लगातार तीनों कृषि कानूनों को वापस लेने की मांग कर रहे हैं।

इन सबके बीच एक बड़ी खबर सामने आ रही है। दिल्ली-हरियाणा बॉर्डर (सिंघु बॉर्डर) पर किसानों के धरने में शामिल 65वर्षीय संत बाबा राम सिंह जी ( Sant Baba Ram Singh Commit Suicide ) ने बुधवार को खुद को गोली मारकर आत्महत्या कर ली। गोली लगने के बाद उन्हें आनन-फानन में घायल अवस्था में नजदीकी निजी अस्पताल में भर्ती करवाया गया, जहां चिकित्सकों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया।

किसान संगठनों ने बुलाई आपात बैठक, धर्मेंद्र प्रधान ने कृषि कानून को हक में बताया

आत्महत्या से पहले उन्होंने एक सुसाइड नोट ( Sucide Note ) भी लिखा है। अपने सुइसाइड नोट में उन्होंने किसान आंदोलन की बात करते हुए किसानों के हक के लिए आवाज बुलंद की है। बता दें कि बाबा राम सिंह करनाल के रहने वाले थे। बाबा राम सिंह के सेवादार गुरमीत सिंह ने घटना की पुष्टि की है। बाबा राम सिंह के न केवल हरियाणा और पंजाब में बल्कि पूरी दुनिया में लाखों की संख्या में अनुयायी हैं।

farmer.png
https://www.dailymotion.com/embed/video/x7y4i55

आत्महत्या से पहले लिखा सुसाइड नोट

आपको बता दें कि बाबा राम सिंह किसानों के समर्थन में धरने पर बैठे थे। उन्होंने आत्महत्या करने से पहले एक सुसाइड नोट भी लिखा है। उन्होंने अपने सुसाइड नोट में लिखा है ‘किसानों का दुख देखा है अपने हक के लिए सड़कों पर उन्हें देखकर मुझे दुख हुआ है.. सरकार इन्हें न्याय नहीं दे रही है.. जो कि जुल्म है.. जो जुल्म करता है वह पापी है.. जुल्म सहना भी पाप है.. किसी ने किसानों के हक के लिए तो किसी ने जुल्म के खिलाफ कुछ किया है.. किसी ने पुरस्कार वापस करके अपना गुस्सा जताया है.. किसानों के हक के लिए, सरकारी जुल्म के गुस्से के बीच सेवादार आत्मदाह करता है.. यह जुल्म के खिलाफ आवाज है.. यह किसानों के हक के लिए आवाज है.. वाहे गुरु जी का खालसा, वाहे गुरुजी की फतेह..।

Farmers Protest: दिल्ली जाने वाला रास्ता फिर बंद, किसान नेताओं को पुलिस ने किया होम अरेस्ट

फिलहाल इस मामले पर पुलिस की ओर से कोई बयान सामने नहीं आया है। बता दें कि इससे पहले मंगलवार को कुंडली बॉर्डर धरने पर बैठे 42 वर्षीय किसान मक्खन खान का दिल का दौरा पड़ने से मौत हो गई थी। वह पंजाब के मोगा जिले के गांव भिंडर कलां का रहने वाला था। अलग-अलग जगहों पर आंदोलन में शामिल अब तक 11 से अधिक किसानों की मौत अलग-अलग कारणों से हो चुकी है।

https://www.dailymotion.com/embed/video/x7y4i1h
loksabha entry point

ट्रेंडिंग वीडियो