मृतकों के परिवारों के बयान दर्ज टीम ने शोवों पर गोलियों से बने घावों की जांच की और शव का परीक्षण करने वाले फोरेंसिक विशेषज्ञों से भी बात की। अस्पताल प्रशासन ने शुक्रवार देर रात को हुए शव परीक्षण का वीडियो भी टीम को दिखाया। आयोग के जांच अधिकारियों ने संबंधित अन्य जानकारियों को प्रशासन से भी प्राप्त किया। उन्होंने बाद में चार मृतकों के परिवारों के बयानों को भी दर्ज किया।
मुठभेड़ वाले स्थान का भी किया दौरा इसके बाद टीम हैदराबाद से लगभग 50 किलोमीटर दूर शादनगर के पास चटनपल्ली गई, जहां पुलिस के साथ मुठभेड़ में ये चारों आरोपी मारे गए थे। टीम मुठभेड़ में शामिल पुलिस अधिकारियों के बारे में भी जानकारी इकट्ठा करेगी। आयोग ने शुक्रवार को हुई इस घटना का संज्ञान लेते हुए इस पर जांच के आदेश दिए। आयोग ने कहा है कि यह मुठभेड़ एक चिंता का विषय है और इसकी सावधानी से जांच किए जाने की जरूरत है।
संभावित घटना के लिए सतर्क नहीं थे पुलिसकर्मी आयोग ने महानिदेशक (जांच) को तथ्यों का पता लगाने और घटनास्थल की जांच करने के लिए तुरंत एक टीम भेजने को कहा। आयोग के जांच प्रभाग की टीम का नेतृत्व एक वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक (एसएसपी) करेंगे। मानवाधिकार आयोग का यह भी मानना है कि पुलिसकर्मी, आरोपियों की ओर से अंजाम दी जाने वाली इस तरह की संभावित घटना को लेकर सतर्क और तत्पर नहीं थे, जिस कारण चारों की मौत हो गई।
आरोपियों को अदालत की ओर से दंडित किया जाना था आयोग ने कहा कि- “जांच के दौरान पुलिस की ओर से इन आरोपियों को गिरफ्तार किया गया था और सक्षम अदालत की ओर से मामले में फैसला सुनाया जाना अभी बाकी था। यदि गिरफ्तार किए गए व्यक्ति वाकई दोषी हैं, तो उन्हें सक्षम अदालत के निर्देशानुसार कानून के मुताबिक दंडित किया जाना था।”