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मदर्स डे के दिन इरोम शर्मिला ने जुड़वा बेटियों को जन्म दिया, अफस्पा के विरोध में 16 साल तक की थी भूख हड़ताल

locationनई दिल्लीPublished: May 13, 2019 09:44:52 pm

Submitted by:

Shivani Singh

आयरन लेडी के नाम से जानी जाती हैं इरोम शर्मिला
28 साल की उम्र में शुरू की भूख हड़ताल
2017 में ब्र‍िट‍िश नागर‍िक डेसमंड कोट‍िन्हो से की शादी

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मदर्स डे के द‍िन जुड़वा बच्चियों की मां बनी इरोम शर्मिला, अफस्पा के विरोध में 16 साल तक की थी भूख हड़ताल

नई दिल्ली। मणिपुर में सशस्त्र बल विशेषाधिकार अधिनियम (अफस्पा) हटाने के लिए 16 साल भूख हड़ताल कर चुकी आयरन लेडी इरोम शर्मिला मां बन चुकी हैं। इरोम ने रविवार को मदर्स डे के दिन दो जुड़वा बच्चियों को जन्म दिया।

48 साल की इरोम शर्मिला ने बेंगलुरु स्थित एक अस्पताल में बच्चियों को जन्म दिया। बच्चियों का नाम निक्स शाखी और ऑटम तारा रखा गया है। बता दें कि इरोम ने नौ बजकर 21 मिनट पर बच्चियों को जन्म दिया। मदर्स डे के दिन इरोम का मां बनना मात्र एक संयोग है। ड्रॉक्टरों ने बताया कि हम अगले हफ्ते इरोम के ऑपेशन की प्लानिंग कर रहे थे। लेकिन शनिवार रात से ही उन्हें तेज दर्द हुआ, जिसके बाद वह अस्पताल आईं। बुधवार तक उन्हें डिस्चार्ज कर दिया जाएगा।

कौन हैं इरोम शर्मिला

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अफस्पा के लिए 16 साल तक लड़ाई लड़ने वाली इरोम शर्मिला का जन्म 14 मार्च 1972 को हुआ था। 28 साल की उम्र से मणिपुर से आर्म्‍ड फोर्स स्‍पेशल पावर एक्‍ट 1958 को हटाने के लिए इरोम ने भूख हड़ताल शुरू की। उनकी यह लड़ाई एक दो नहीं पूरे 16 साल चली। बता दें कि उनके भूख हड़ताल के तीसरे दिन ही सरकार ने उन्हें गिरफ्तार कर लिया था। इन कठिनाईयों के बाद भी इरोम ने अपना निर्णय नहीं बदला और भूख हड़ताल जारी रखा था। उस दौरान लोगों को लगा कि उन्होंने अफस्पा को बंद करने का यह कदम भावुकता में उठाया है। लेकिन धीरे-धीरे उनका यह संघर्ष एक आंदोलन में बदल गया। लेकिन 2016 में इरोम ने अचानक घोषणा की कि वे अपना अनशन समाप्त कर देंगी। उन्होंने इसके पीछे की वजह संघर्ष के प्रति आम जनता की बेरुखी बताया।

इस वजह से की भूख हड़ताल

असम राइफलके जवानों की मुठभेड़ में 10 नागरिकों के मारे जाने के बाद 2 नवंबर 2000 को इरोम ने भूख हड़ताल शुरु की थी। उन्होंने इस उम्मीद के साथ ये आंदोलन शुरू किया था कि 1958 से अरुणाचल प्रदेश, मेघालय, मणिपुर, असम, नगालैंड, मिजोरम और त्रिपुरा में और 1990 से जम्मू-कश्मीर में लागू आर्म्ड फोर्स स्पेशल पावर एक्ट (एएफएसपीए) को हटवाने में वह महात्मा गांधी के नक्शेकदम पर चल कर कामयाब होंगी।

शादी और राजनीतिक जीवन

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भूख हड़ताल खत्म करने के बाद इरोम 2017 में राजनीति में उतरीं। 2017 में मणिपुर से विधानसभा चुनाव लड़ा, लेकिन उन्हें महज 90 वोट मिले। इसके बाद उसी साल इरोम ने ब्र‍िट‍िश नागर‍िक डेसमंड कोट‍िन्हो से शादी कर ली और अपने पत‍ि के साथ तम‍िलनाडु के कोडइकनाल में रहने लगीं।
नाम किए ये रिकॉर्ड

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बता दें कि इरोम के नाम दो रिकॉर्ड भी हैं। पहला सबसे लंबी भूख हड़ताल करने और दूसरा सबसे ज्यादा जेल से रिहा होने का। यहीं नहीं 2014 में अंतरराष्‍ट्रीय महिला दिवस के मौके पर उन्‍हें एमएसएन ने ‘वूमन आइकन ऑफ इंडिया’ के खिलाब से भी नवाजा था।

 

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