सचिन की मां ने बताया कि एक दिन पहले सचिन का फोन आया था। मैंने उससे कहा था कि तू कितना दुबला हो गया है, कुछ खा पी लिया कर। इस पर सचिन ने मुझसे कहा था कि मैं मां दुश्मन के लिए मैं पतला ही काफी हूं। बस सचिन की मां ने इतना ही कहा था कि वह बिलख-बिलख कर रो पड़ी। वहीं सचिन के दादा जी कह रहे थे कि ऊपर जाने की उम्र तो उनकी है, उन्हें मौत क्यों नहीं आई। रोते-बिलखते दादा ने कहा कि उन्होंने ऐसा क्या बुरा किया था जो उन्हें अपने पोते की मौत देखनी पड़ी। इसे देखने से पहले वह मर क्यों नहीं गए। वह तो बस एक ही दुआ करेंगे कि भगवान उन्हें भी ऊपर बुला ले।
बता दें कि हरियाणा के पानीपत के सनौली के गांव गोयला खुर्द के रहने वाले सचिन शर्मा को उनके गांव में ही अंतिम विदाई दी गई। इस इमोश्नल लम्हें पर हजारों की संख्या में लोग पहुंचे। सचिन का अंतिम संस्कार और उसे मुखाग्नि सचिन शर्मा के छोटे भाई साहिल ने दी। इस मौके पर साहिल ने कहा कि वह भी अपने बड़े भाई की तरह फौज में भर्ती होएंगे। बता दें कि सचिन शर्मा की शहीद होने का कारण सेना के अधिकारियों ने बताया कि अरुणाचल प्रदेश में सुघानकिला की पहाड़ियों पर पेट्रोलिंग करते समय सचिन को अचानक पेट में दर्द हुआ था। जिसके बाद उन्हें खून की उल्टी होने लगी।
जाट रेजीमेंट के लेफ्टिनेंट कर्नल कमल सिंह ने सचिन के बारे में कहा कि सचिन को खेलों में बहुत रूचि थी। सचिन राजपुताना राइफल बटालियन की कबड्डी टीम का मेन प्लेयर भी था। उसे कई बार खेलों में बेहतरीन प्रदर्शन के लिए सम्मानित भी किया जा चुका था।