बता दें मुकदमा करने वाले शख्स का नाम सयैद इशरतुल्लाह है जो कि बेंगलुरू के कवालबयैरासैंडरा न्यू एक्सटेंशन के केएचबी रोड पर रहते हैं। साल 2014 में 23 सितंबर को उन्होंने अपने एसबीआई एकाउंट से चेक के ज़रिए एक स्कूल को 20000 रुपये ट्रांसफर किए थे। लेकिन चेक क्लीयर होने के टाइम गुजर जाने के बाद भी स्कूल को पैसे नहीं मिले। जिसके चलते उन्हें शर्मिंदा होना पड़ा। जिसके बाद उन्होंने 29 सितंबर, 2014 को बैंक से संपर्क किया। बाद में उन्हें पता चलता कि बैंक के कर्मचारी छुट्टी पर थे इसलिए उनका काम नहीं हुआ।
इशरतुल्लाह ने शिकायत की बाद में कुछ दिन बाद चेक क्लियर हो गया। बैंक ने चैक लेट होने का कोई कारण नहीं बताया। बल्कि चेक लेट होने के बाद भी बैंक ने इशरतुल्लाह के 51 रुपये काट लिए। जिसके बाद उन्होंने बैंक उनकी लापरवाही पर केस कर दिया। बैंक वालों ने इस बात पर तर्क दिया कि उन्होंने इशरतुल्लाह के घर चेक बुक भेजी थी उसके लिए उन्होंने सर्विस के पैसे काटे लेकिन इस पर इशरतुल्लाह ने कहा कि उन्होंने चेकबुक बैंक से ही रिसीव कर ली थी। जिसके बाद उन्होंने बैंक के कर्मचारियों के बदसलूकी से परेशान आकर उन्होंने बैंक के खिलाफ 23 नवंबर 2015 Forum में शिकायत दर्ज़ करा दी थी। अब फोरम ने उस केस पर बैंक को हर्जाना देने के लिए बोला है।