दरअसल बृहस्पतिवार को महाराष्ट्र के चिंचवाड़ शहर में एक सार्वजनिक कार्यक्रम आयोजित किया गया था। इस दौरान नाना पाटेकर से किसानों की आत्महत्या के मामले पर सवाल पूछे जाने पर उन्होंने कहा, “अगर राजनीतिक दलों के नेता किसानों को पैसे नहीं देते हैं तो कोई बात नहीं। उन्हें ना केवल ऋण माफी चाहिए, बल्कि उन्हें प्रोत्साहन और भावनात्मक सहारा भी चाहिए।”
बॉलीवुड अभिनेता ने आगे कहा, “हमें उनसे बात करने की जरूरत है। किसान भिखारी नहीं हैं।” नाना ने इस बात पर भी जोर डाला कि सब्जियों के दाम तय किए जाने की जरूरत है। इतना ही नहीं नाना ने लोगों से अपील की कि वे सब्जी विक्रेताओं से मोलभाव ना किया करें।
किसानों के हितों के लिए कई कार्य करने वाले नाना ने आगे कहा, “यों तो बाजार में मौजूद हर चीज का दाम निर्धारित है, लेकिन हमारे आलू और टमाटर पर कोई दाम तय नहीं है। आपकी फीस तय है, कारों के दाम तय हैं… मैं आप सभी से अनुरोध करता हूं कि गलियों में सब्जी बेचने वालों से मोलभाव न करें। हम सभी को सोचना चाहिए कि किसान किस स्थिति का सामना कर रहे हैं।”