हालांकि अक्षक ठाकुर के सभी कानूनी विक्लप खत्म हो चुके हैं, इसके बावजूद भी उसने एक दया याचिका ( mercy petition ) दायर की है। अक्षय ने दया याचिका में सुधार कर राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ( President Ramnath Kovind ) के पास भेजा है, जिसमें कहा गया है कि पहले जिस याचिका को खारिज किया गया था उसमें सभी तथ्य नहीं थे।
पहले खारिज हो चुकी है याचिका
आपको बता दें कि इससे पहले अक्षय ने एक बार राष्ट्रपति के पास दया याचिका दायर की थी, जिसे राष्ट्रपति ने खारिज कर दिया था। अक्षय के वकील का दावा है कि पिछली बार जो याचिका अक्षय के माता-पिता ने दायर की थी उसमें सभी तथ्य शामिल नहीं किए गए थे, यानी कि पूरे पेपर नहीं थे।
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इसलिए अधूरी याचिका होने की वजह से राष्ट्रपति इस केस के सभी पहलुओं से वाकिफ नहीं पाए थे। ऐसे में अब एक बार फिर से पूरे तथ्य और सभी पेपर के साथ दया याचिका लगाई गई है। आपको बता दें कि अक्षय के वकील एपी सिंह ने ये बातें कही थी। फिलहाल अब ये देखना जरूरी है कि इस दया याचिका पर राष्ट्रपति क्या फैसला लेते हैं।
दो बार टल चुकी है फांसी
आपको बता दें कि 3 मार्च को फांसी होने वाली है। उससे पहले एक बार फिर से दोषियों ने बचने के लिए एक-एक करके सभी विकल्पों को आजमाना शुरू कर दिया है। यही कारण है कि इससे पहले सभी तरह के कानूनी प्रावधानों का इस्तेमाल करते हुए दोषियों के वकील अब तक दो बार फांसी टलवा चुके हैं।
पहली बार दोषियों को फांसी 22 जनवरी को होनी थी, लेकिन इसे टाल दिया गया और 1 फरवरी नई तारीख मुकर्रर की गई। लेकिन इसके बाद फिर से इसे टाला गया और तीसरी बार 3 मार्च की तारीख तय की गई। हालांकि अब एक बार फिर से फांसी से ऐन पहले दया याचिका दायर कर तारीख को टालने की कोशिश की गई है। हालांकि यह राष्ट्रपति के फैसले पर निर्भर करेगा।
पवन की याचिका पर सोमवार को होगी सुनवाई
आपको बता दें कि इससे पहले शुक्रवार को निर्भया के दोषी पवन कुमार ने फांसी से बचने के लिए सुप्रीम कोर्ट में क्यूरेटिव पिटीशन दायर की। पवन ने क्यूरेटिव पिटीशन में मौत की सजा को आजीवन कारावास में बदलने की मांग की।
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दोषी पवन कुमार के वकील ए.पी. सिंह ने दलील दी कि अपराध के समय पवन कुमार नाबालिग था, इसलिए उसे मौत की सजा नहीं दी जानी चाहिए। अब इस मामले पर सुप्री कोर्ट सोमवार को सुनवाई करेगा।
मालूम हो कि निर्भया के दोषियों को तीन मार्च सुबह 6 बजे फांसी होनी है, इसके लिए कोर्ट डेथ वारंट जारी कर चुका है। पटियाला हाउस कोर्ट के अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश धर्मेंद्र राणा ने नया डेथ वारंट जारी किया था।