5 लाख रूपये में बेचा गया पेपर
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक रेलवे ने यह परीक्षा एनटीपीसी और टीसीएस के माध्यम से जूनियर क्लर्क और कमर्शियल क्लर्क पदों के लिए करवाई गई थी। जिसे कराने का जिम्मा रिक्रूटमेंट सेल (आरआरसी) को दिया गया था। लेकिन परीक्षा के 7 घंटे पहले ही पेपर को 5 लाख रूपये में वॉट्सएप पर बेचा जा रहा था।
ऐसे हुआ खुलासा
इस फर्जीवाड़े का खुलासा उस वक्त हुआ जब आरआरसी का आधिकारिक परिणाम घोषित होने से पहले ही गिरोह ने रिजल्ट को एक फर्जी वेबसाइट अपलोड़ कर दिया। विजिलेंस विभाग के एक अधिकारी ने बताया कि इस फर्जीवाड़े के बारे में 21 जनवरी को पता चला था। जिसके बाद एक टीम ने सावरकुंडला स्टेशन पर छापेमारी की और कुछ लोगों को हिरासत में लिया। हिरासत में लिए गए लोगों में से कुछ क्लास फोर के कर्मचारी थे। जो इस परीक्षा में हायर पोस्ट के लिए प्रतियोगी थे।
SSC JE Answer key: जेई भर्ती पेपर -1 परीक्षा की उत्तर कुंजी जारी, यहां से करें चेक
दिल्ली और बिहार से चल रहा था रैकेट
अधिकारी के मुताबिक, इस रैकेट को कुछ लोग दिल्ली और बिहार से चला रहे थे।इस मामले में फिलहाल परीक्षा लेने वाली प्राइवेट फर्म के खिलाफ मामला दर्ज कर जांच की जा रही है। माना जा रहा है कि इस फर्जीवाडे़ में रेलवे के कुछ बड़े अधिकारी भी शामिल हो सकते हैं। बता दें इस परीक्षा में करीब 12 हजार छात्रों ने हिस्सा लिया था। इसमें सूरत और आसपास के लगभग ढाई हजार छात्र थे।