वहीं अब इसे हाई स्पीड ट्रेन ट्रैक के तौर पर डेवलप किया जाने वाला है। जिसके बाद इस ट्रैक पर 200 किमी प्रतिघंटा की रफ्तार से यह ट्रेनें दौड़ेंगी। गौर करने वाली बात ये भी है कि इस पूरे प्रोजेक्ट पर 11000 करोड़ रुपए का खर्च आने की उम्मीद है। जबकि यह साल 2022 तक यह पूरा होगा। देश की पहली सेमी हाईस्पीड ट्रेन भारतीय रेलवे, फ्रांसीसी कंपनी के सहयोग से बनाने जा रही है।
भारतीय रेलवे को सौंपा गया अंतिम मसौदा
दरअसल न्यूज वेबसाइट के मुताबिक नेशनल सोसायटी ऑफ फ्रेंच रेलवे (एसएनसीएफ) द्वारा भारतीय रेलवे को सौंपी गई अंतिम मसौदा रिपोर्ट में यह बात कही गई है। इस इंफ्रास्ट्रक्चर तैयार करने के लिए भारत-फ्रांस के बीच समझौता हुआ था। इसी क्रम में एसएनसीएफ ने सोमवार को भारतीय रेल मंत्रालय को अपनी रिसर्च रिपोर्ट और पूरे प्रोजेक्ट का प्रजेंटेशन दिया। जिसमें कई वरिष्ठ रेलवे के अधिकारी मौजूद रहे। अब 15-20 दिन में रेलवे बोर्ड को इस पर फैसला लेना है।
फिलहाल 110 किलोमीटर प्रतिघंटे की रफ्तार से चलती है
रेलवे बोर्ड को सौंपी गई इस रिपोर्ट के मुताबिक दिल्ली से चंडीगढ़ के बीच में पानीपत और अंबाला में दो स्टॉपेज होंगे। यहां सबसे बड़ी बात ये है कि इस रूट पर चलने वाली शताब्दी एक्सप्रेस फिलहाल 110 किलोमीटर प्रतिघंटे की रफ्तार से चलती है। जो तकरीबन साढ़े तीन घंटे का वक्त लेती है। अगर इस सेमी हाई स्पीड ट्रैक को मंजूरी मिल गई तो यह दूरी केवल 2 घंटे की हो जाएगी।