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Virtual Parliament पर सहमति नहीं, छह दिन के लिए बुलाई जा सकती है बैठक

Published: Jun 26, 2020 10:35:22 pm

Submitted by:

Mohit sharma

– हर रोज काम के घंटे भी कम ही रखने की तैयारी
सरकार अब अगस्त महीने के बीच में Parliament session बुला सकती है

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मुकेश केजरीवाल

नई दिल्ली। अगस्त-सितंबर तक कोरोना ( coronavirus ) के बढ़ते मामलों से राहत की कोई उम्मीद नहीं देख सरकार अब अगस्त महीने के बीच में संसद का सत्र ( Parliament session ) बुला सकती है। संभव है कि छह दिन की सीमित घंटों की कार्यवाही के लिए मानसून सत्र ( monsoon session) बुलाया जाए। वर्चुअल तरीके से बैठक बुलाने पर अभी सहमति नहीं बन सकी है।

सरकार के वरिष्ठ सूत्रों के मुताबिक, “यह तो यह है कि यह मानसून सत्र बहुत छोटा रखा जाएगा। हालांकि अभी पूरी कार्यसूची बनने के बाद ही इस बारे में कोई अंतिम फैसला लिया जा सकेगा।”

उधर, लोकसभा सचिवालय के सूत्रों के मुताबिक सरकार जैसे ही अपनी कार्यसूची और तारीखें तय कर लेगी, जगह और तरीके को ले कर अंतिम फैसला कर लिया जाएगा। हालांकि ये साफ कहते हैं कि वर्चुअल बैठक को ले कर अब तक कोई सहमति नहीं बन सकी है। वर्चुअल बैठक में कई ऐसी समस्याएं हैं, जिन्हें दूर करना कठिन हो सकता है।

सचिवालय के सूत्रों के मुताबिक अगर सदस्य सहमत हो जाते हैं तो काम के घंटों को बहुत कम कर दिया जाएगा। हर रोज पूरे सदन को किटाणुमुक्त करना भी जरूरी होगा। अब तक लोकसभा की बैठक सेंट्रल हॉल में और राज्य सभा की बैठक लोकसभा कक्ष में करवाने की ही संभावना है।

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कारण -1

छह महीने की सीमा नजदीक

बजट सत्र 23 मार्च को समाप्त हुआ था। छह महीने के अंदर अगली बैठक बुलानी जरूरी होती है। यह सीमा 23 सितंबर को समाप्त हो जाएगी।

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कारण- 2

चीन और कोरोना पर सहमति

देश के सामने कोरोना महामारी, चीन से संघर्ष और नेपाल से रिश्तों में आई खटास जैसे कई ऐतिहासिक मुद्दे आ खड़े हुए हैं। इन पर विधायिका की सहमति उपयोगी होगी।

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कारण- 3

विपक्ष का दबाव

कांग्रेस सरकार पर हमला कर रही है कि वह अपनी नाकामी छिपाने के लिए संसद नहीं बुला रही। पार्टी ने वर्चुअल तरीके से भी सत्र बुलाने की मांग की है।

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कारण- 4

अध्यादेश पास करवाना

आवश्यक वस्तु संशोधन अध्यादेश

सरकार ने किसानों को राहत देने के लिए आलू, प्याज आदि के भंडारण की सीमा में बदलाव करने के लिए 5 जून को आवश्यक वस्तु संशोधन अध्यादेश लाया है। मकसद किसानों की आय बढ़ाना है।

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किसान उत्पाद व्यापार और वाणिज्य अध्यादेश

किसानों को मंडी के बाहर भी अपनी फसल बेचने की छूट देने के लिए 5 जून को यह अध्यादेश लाई है। इसका भी मकसद किसानों को राहत देना ही बताया गया है।

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महामारी अध्यादेश

केंद्र सरकार ने कोरोना को देखते हुए 22 अप्रैल को देश भर में महामारी कानून लागू किया था। स्वास्थ्य राज्य का विषय होता है, लेकिन इसके माध्यम से इसे केंद्र ने अपने हाथ में ले लिया है।

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सांसद, मंत्रियों के वेतन में संशोधन

कोरोना को देखते हुए सरकार ने अध्यादेश के जरिए सांसदों और मंत्रियों के वेतन में 30 प्रतिशत कमी की थी। 7 और 9 अप्रैल के इन अध्यादेशों को भी पारित करवाना है।

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अन्य संशोधन

इसके अलावा सरकार श्रम कानूनों में बड़े बदलाव करना चाहती है। साथ ही कई और अध्यादेश और विधेयकों को पारित करवाने की कोशिश होगी।

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