28 सितंबर तक के लिए टल गया गौरतलब है कि अफगानिस्तान में दूसरी बार राष्ट्रपति चुनाव में देरी हुई है। इस बार यह 20 अप्रैल के लिए निर्धारित किया गया था। मगर सुरक्षा चिंताओं के कारण 20 जुलाई की तारीख तय की गई है। की देरी हुई और अब यह 28 सितंबर तक के लिए टल गया है। कोशिश की जा रही है कि काबुल और तालिबान के बीच सीधी वार्ता हो। खलीलज़ाद ने यह भी कहा कि पाकिस्तान ने अफगानिस्तान को आश्वासन दिया है कि उसके आंतरिक मामलों में वह हस्तक्षेप नहीं करेगा। अफगान शांति प्रक्रिया के लिए पाकिस्तान और अन्य क्षेत्रीय समर्थन की सराहना करते हैं। खलीलज़ाद ने लिखा कि अफगान शांति प्रक्रिया के लिए पाकिस्तान और अन्य क्षेत्रीय समर्थन की सराहना करते हैं और मानते हैं कि युद्ध की लंबी अवधि के बाद अफगानों को शांति से रहने का अधिकार है।