अमरीकन जर्नल ऑफ रेस्पिरेटरी एंड क्रिटिकल में प्रकाशित एक शोध में सामने आया कि आखिर क्यों इस बीमारी को रोकना कठिन है। अध्ययन में 16 पीड़ितों को लेकर शोध किया गया। इनका बीजिंग स्थित पीएलए जनरल हॉस्पिटल के उपचार केंद्र में 28 जनवरी से नौ फरवरी 2020 तक इलाज चला और इस अवधि में छुट्टी दी गई।
इटली में 92 हजार लोग संक्रमण की चपेट में, दुनियाभर में 30 हजार के पार मौत का आंकड़ा अमरीका की याले यूनवर्सिटी से भारतीय मूल के वैज्ञानिक लोकेश शर्मा भी इस अध्ययन में शामिल हुए। अध्ययन में रोगियों के नमूनों का विश्लेषण भी किया। शोधकर्ताओं के अनुसार रोगियों को ठीक होने और उनकी रिपोर्ट नेगेटिव आने के बाद उन्हें छुट्टी दे दी गई। अध्ययन के सह-लेखक शर्मा के अनुसार उनके अध्ययन में ये बात सामने आई कि रोगियों में लक्षणों के ठीक होने के बाद भी उनसे विषाणु का प्रसार हो रहा था।
183 देशों में 6 लाख से ज्यादा लोग कोरोना के मरीज कोरोना वायरस के फैलने के बाद से पूरी दुनिया में इस महामारी से अब तक छह लाख से ज्यादा मामले सामने आ चुके हैं। शनिवार यानी 28 मार्च को मीडिया की ओर से यह आंकड़ा जारी किया गया। विश्व के 190 देशों में अब तक संक्रमण के शिकार हैं। दुनियार भर में 30 हजार से ज्यादा लोगों की मौत हो चुकी है।
इस वैश्विक महामारी का केंद्र चीन में 81,934 लोग की कोरोना वायरस से संक्रमित होने की पुष्टि हुई है। करीब 3,295 लोगों की इस वायरस के चपेट में आने के बाद मौत हो चुकी है। बीते 24 घंटे के दौरान इस बीमारी का सबसे ज्यादा असर इटली से सामने आया है। यहां मरने वालों की संख्या बढ़कर 9134 हो गई है, जबकि अबतक 86,498 मरीज संक्रमित हैं।