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Independence Day 2020: Kite flying: कब और कैसे शुरू हुई पतंग उड़ाकर आजादी का जश्न मनाने की परंपरा

locationनई दिल्लीPublished: Aug 14, 2020 12:22:56 pm

Submitted by:

Mohit Saxena

Highlights

1927 में जब साइमन कमीशन (Simon Commission) का विरोध शुरू हुआ, तब लोगों ने “गो बैक साइमन” के नारे से लिखीं पतंगें उड़ाईं।
आसमान में पतंग उड़ाना भारतीयों के लिए स्वतंत्रता का प्रतीक बना गया है।

kite flying

आसमान में तीरंगे को दर्शाती पतंगें।

नई दिल्ली। 15 अगस्त को स्वतंत्रता दिवस (Independence Day 2020) धूमधाम से मनाया जाता है। इस दिन कुछ लोगों के लिए, यह दिन बस काम से एक और छुट्टी है, यानी आराम का दिन। फिल्म या खरीदारी के लिए बाहर जा सकते हैं। वहीं अधिकांश लोगों के लिए यह दिन अभी भी एक विशेष महत्व रखता है। लोग 15 अगस्त का बेसब्री से इंतजार करते हैं, क्योंकि अलग-अलग चिह्नों, आकारों की पतंगों के साथ आकाश को देखा जाता है।
स्वतंत्रता दिवस पर पतंग उड़ाना निस्संदेह सबसे आम परंपरा है, जिसे अभी भी दिल्ली के लोग निभाते हैं। स्वतंत्रता की इस भावना का हमारे देश में ऐतिहासिक महत्व रहा है। 1927 में जब साइमन कमीशन का विरोध शुरू हुआ, तो लोगों ने “गो बैक साइमन” के नारे पतंगों पर लिखे। उन्हें आसमान में उड़ाया गया था और तब से पतंग उड़ाना भारतीयों के लिए स्वतंत्रता का प्रतीक बना गया।
पतंगबाजी आम तौर पर स्वतंत्रता,आनंद और देशभक्ति की भावनाओं से जुड़ी होती है और यही असली वजह है कि दिल्ली का आसमान जीवंत रंगों की पतंगों से भर जाता है। युवा, बूढ़े, लड़कियां, लड़के, पुरुष, महिलाएं, अपनी जाति और पंथ को छोड़कर अधिकांश इलाकों में छतों, पार्कों, खुले स्थानों पर पतंगबाजी में व्यस्त दिखाई देते हैं।
हमारे देश की इस परंपरा को आगे बढ़ाना हमारा कर्तव्य है। पुराने और युवाओं को आगे आने दो और पतंग की इस पारंपरिक गतिविधि में शामिल होकर इस स्वतंत्रता दिवस को मनाओ। अपने गैजेट्स को अलग रखें और जश्न में हिस्सा लें। अपने बचपन को पुनर्जीवित करें।
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