वहीं इससे पहले बुधवार को डोनाल्ड ट्रंप ने दक्षिण कोरिया की संसद में कहा था कि उत्तर कोरिया के तानाशाह लीडर किम जोंग अगर अपनी न्यूक्लियर वेपन्स की हसरतों को पूरा करने की जिद्द छोड़ देते हैं। वह उन्हें अच्छे भविष्य की पेशकश करेंगे। बता दें कि डोनाल्ड ट्रंप अपनी यात्रा में अब तक जापान, दक्षिण कोरिया, चीन और वियतनाम जा चुके हैं। वह अपनी यात्रा के अगले पड़ाव हनोई पहुंच गए हैं।
इस बीच केसीएनए न्यूज एजेंसी ने प्योंगयांग के विदेश मंत्रालय के हवाले से कहा कि ट्रंप की चेतावनी से हम डरने वाली नहीं हैं। उनकी यह धमकी हमें परमाणु संपन्न बनने से नहीं रोक सकती है। साथ ही उन्होंने कहा कि उनकी यह धमकी हमें हमारे काम में तेजी लाने में मदद करेगी। वहीं उत्तर कोरिया के विदेश मंत्रालय ने अमेरिकी राष्ट्रपति के एशिया दौरे को बिजनेस के लिए बताए जाने की बात को खारिज कर दिया है।
यहां गौर करने वाली बात ये है कि तानाशाक किम जोंग को चेतावनी देते हुए ट्रंप ने कहा कि जो हथियार आपने रखे हैं। वो आपके देश के लिए विनाशकारी हो सकता है। उन्होंने कहा कि उत्तर कोरिया को अमरीका की ताकत को कम करके नहीं आंकना चाहिए। अन्य देशों के सहयोग की ओर इशारा करते हुए ट्रंप ने कहा कि मैं सिर्फ अपने देश की ओर से नहीं बोल रहा ये मैसेज सभी सभी देशों की ओर से हैं। आप हमें कमजोर समझकर परीक्षा न लें।
चीन में ट्रंप का जोरदार स्वागत
वहीं दूसरी ओर अमरीका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप बुधवार को चीन की आधिकारिक यात्रा पर पहुंचे। इस यात्रा के दौरान ट्रंप व्यापार एवं नार्थ कोरिया के साथ तनाव के मुद्दे पर प्रमुखता से ध्यान केंद्रित कर सकते हैं। ट्रंप का विमान बीजिंग हवाई अड्डे पर दोपहर करीब 2.35 बजे पहुंचा। ट्रंप और उनकी पत्नी मेलानिया का वहां कम्युनिस्ट पार्टी के नेताओं ने जोरदार स्वागत किया और उन्हें गार्ड ऑफ ऑनर दिया गया। पांच देशों की एशियाई यात्रा के तीसरे चरण में ट्रंप जापान और साउथ कोरिया की यात्रा करने के बाद यहां पहुंचे हैं।
जनवरी में राष्ट्रपति बनने के बाद ट्रंप की यह पहली चीन यात्रा है। मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक वह चीन की कम्युनिस्ट पार्टी (सीपीसी) के 19वें राष्ट्रीय कांग्रेस के बाद यहां पहुंचे किसी भी देश के पहले राष्ट्राध्यक्ष हैं। ट्रंप चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग और उनकी पत्नी पेंग लियुआन के साथ फॉरबिडन सिटी की यात्रा करेंगे। इस ऐतिहासिक जगह पर चीनी शासकों का घर था और उनका परिवार लगभग 500 वर्षो तक यहां रहा था।