मुरैना. लोकायुक्त ने सिटी कोतवाली थाने में पदस्थ उप निरीक्षक सुरेन्द्र सिंह यादव को रंगे हाथों पकड़ा है। एस आई द्वारा दो लोगों की जमानत के लिए 20 हजार रुपए की मांग की गई, बाद में पांच हजार में मामला सेट हो गया था। जानकारी के अनुसार गोपाल पुरा निवासी संदीप गुर्जर ने 8 नवंबर को लोकायुक्त ग्वालियर में शिकायत की थी कि सिटी कोतवाली थाने में दर्ज मामले में उसके मामा सत्या गुर्जर, नाना भूरा गुर्जर की जमानत के लिए उप निरीक्षक सुरेन्द्र ङ्क्षसह यादव ने 20 हजार रुपए की मांग की थी। उसके बाद पांच हजार रुपए में मामला सेट हो गया। इससे पूर्व लोकायुक्त ने फरियादी की रिकॉर्डिंग के आधार पर मामला दर्ज कर लिया था। रविवार को पांच हजार रुपए देने की बात हुई है। लोकायुक्त ने फरियादी को पावडर में मिलाकर पांच हजार रुपए दिए। उन रुपयों को देने फरियादी रविवार को सिटी कोतवाली थाने पहुंचा। जैसे ही पांच हजार रुपए एस आई ने जेब में रखे तभी लोकायुक्त की टीम ने उसे पकड़ लिया। उसके बाद उसके हाथ धुलवाए तो हाथ रंग गए। लोकायुक्त ने पेंट को जब्त कर लिया है और जो पानी लाल हुआ था, उनको भी बोतल में पैक किया गया। घर से सिविल ड्रेस मंगवाई गई, वह उप निरीक्षक को पहनाई गई। पूरी कार्रवाई सिटी कोतवाली थाना परिसर में ही की गई। एस आई को ट्रेप करवाने में विभागीय विभीषणों की भूमिका लोकायुक्त द्वारा ट्रेप किए गए उप निरीक्षक सुरेन्द्र यादव का तीन महीने पूर्व ही प्रमोशन हुआ है। इससे पूर्व वह सहायक उप निरीक्षक थे। जांच व जमानत सहित अन्य मामलों में वसूली तो हर थाने पर की जा रही है लेकिन एस आई यादव को ट्रेप करवाने में विभागीय विभीषणों की भूमिका बताई है। इस पूरी कार्रवाई में नई क्राइम ब्रांच के दो कर्मचारियों की भूमिका पर सवाल उठ रहे हैं। कथन
फरियादी संदीप गुर्जर ने लोकायुक्त में शिकायत की थी कि सिटी कोतवाली थाने में दर्ज मामले में उसके मामा व नाना की जमानत के लिए 20 हजार रुपए उप निरीक्षक सुरेन्द्र सिंह यादव द्वारा मांगे जा रहे हैं। बाद में पांच हजार रुपए में मामला सेट हो गया और वह पांच हजार रुपए जैसे ही उप निरीक्षक को दिए तभी उप निरीक्षक को रंगे हाथों पकड़ा गया है। कार्रवाई की जा रही है। विनोद कुशवाह, डीएसपी, लोकायुक्त
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