मोरेना

जहरीली शराब कांड: अब तक 21 की मौत, गांव में तीन बार पंचायत हुई पर नहीं रूका कारोबार

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने अपना दिल्ली दौरा रद्द कर बुधवार सुबह-सुबह अफसरों की बैठक बुलाई।

मोरेनाJan 14, 2021 / 08:29 am

Pawan Tiwari

जहरीली शराब कांड: अब तक 21 की मौत, गांव में तीन बार पंचायत हुई पर नहीं रूका कारोबार

मुरैना. मध्यप्रदेश के मुरैना जिले में जहरीली शराब पीने से बुधवार को पांच और लोगों की मौत हो गई। जहरीली शराब के कारण जिले में अब तक 21 लोगों की मौत हो चुकी है। वहीं दूसरी तरफ सरकार लगातार कार्रवाई की बात कर रही है। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने अपना दिल्ली दौरा रद्द कर बुधवार सुबह-सुबह अफसरों की बैठक बुलाई। इसमें गृहमंत्री नरोत्तम मिश्रा, वाणिज्यिक कर मंत्री जगदीश देवड़ा के साथ संभाग के अफसर मौजूद थे।
तीन बार हो चुकी है गांव में पंचायत लेकिन नहीं बनी बात
मानपुर में अवैध शराब का कारोबार पिछले करीब चार साल से हो रहा है। गांव के बुजुर्ग रामहेत सिंह का कहना हैं कि अवैध शराब के बनाने व बेचने पर रोक लगाने को लेकर मानपुर में पिछले समय में तीन बार पंचायत हो चुकी है। हर बार तय होता है कि अब गांव में कोई शराब नहीं बनाएगा और न बेचेगा परंतु पंचायत की बात कोई मानता ही नहीं। गांव में एक साथ सात लोगों की मौत से गांव पर दुखों का बजपात हुआ है। आज गांव के हर आदमी व महिला और बच्चे गम में हैं।
मानपुर गांव में दिलीप शाक्य (40) ही परिवार का मुखिया थे। भाई हैं लेकिन वह अलग-अलग रहकर मेहनत मजदूरी करके अपना पेट पाल रहे हैं। इसी तरह दिलीप शाक्य भी मजदूरी करता था। शराब के सेवन से उसकी मौत हो जाने पर उसकी सात बच्चियों व पत्नी पर बज्रपात हुआ है।
दिलीप की सबसे बड़ी बच्ची 14 वर्ष की है। छह बच्चियां छोटी हैं। सबसे छोटी बच्ची इतनी मासूम है कि वह तो कुछ समझ ही नहीं पा रही है ये सब क्‍या हो रहा है। एक बच्ची तो रो रोकर बेहोश ही हो गई। मानपुर गांव में शराब के सेवन से मरे धर्मेन्द्र किरार और ध्रुव सिंह किरार के बच्चे अभी तक बिन मां के थे अब पिता का भी साया छिन गया। धर्मेन्द्र की पत्नी दो साल पहले बीमारी से मर चुकी है। उसके दोनों बच्चे आगरा में रहकर पढ़ रहे थे। इसी तरह ध्रुव गया साया सिंह किरार के दो बच्चे हैं उसकी पत्नी भी तीन साल पहले खत्म हो चुकी है।
कैसे होगा 4 बच्चियां का पालन पोषण
शराब पीने से मृत जितेन्द्र जाटव की चार बच्चियां हैं। इसके पास जमीन भी नहीं हैं। मेहनत मजदूरी करके परिवार का पालन पोषण कर रहा था। अब उसकी चारों बच्चियां अनाथ हो गई। पत्नी व बच्चियों को रो रोकर बुरा हाल है।
लॉकडाउन में ही की थी बच्ची की शादी
सरनाम सिंह किरार के चार बच्चियां हैं। बड़ी बच्ची की शादी लॉक डाउन में ही की थी। एक अन्य बेटी की शादी के लिए व्यवस्थाएं जुटाई जा रही थीं। अब तीन बच्चियां बिन पिता के रह गईं। पिता के मौत की खबर सुनकर बच्चियों व पत्नी सहित परिवार पर दुखों का पहाड़ टूट पड़ा है।
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