गोवंश रक्षण संवर्धन संस्था संचालित इस गोवर्धन गोशाला में ढाई सौ से अधिक गाय हैं। इनमें से करीब 20 गाय गर्भवती हैं, 15 से 20 गाय ऐसी हैं जिनका उपचार चल रहा है। इनमें अधिकतर गायों को पुलिस ले कर आई है, जिन्हें गौवंश तस्करों से छुड़ाया गया है। यहां लाकर गायों को हर तरह की सेवा व जरूरी इलाज किया जाता है।
करीब 30 वर्ष से संचालित इस गौशाला को हटाकर डॉग शेल्टर के लिए टेंडर निकालने पर निवासियों में रोष है। गौ सेवकों ने इसके खिलाफ सिडको अधिकारियों को ज्ञापन सौंपा है। निवासियों का आरोप है कि प्रशासन कतिपय लोगों के इशारे पर गौशाला हटाकर डॉग शेल्टर बनाने का षडयंत्र कर रहा है। इस संदर्भ में गौशाला के खिमजी देवड़ा ने सिडको अध्यक्ष प्रशांत ठाकुर, महाराष्ट्र राज्य एनीमल वेलफेयर बोर्ड को पत्र लिख कर गायों को बचाने की मांग की है। देवड़ा ने बताया कि सभी पशुओं का संरक्षण होना चाहिए, डॉग शेल्टर का हमें विरोध नहीं, लेकिन जिस जगह पर हम 30 वर्ष से अधिक समय से गौ सेवा कर रहे हैं, आखिर उस जगह पर ही क्यों डॉग शेल्टर लाया जा रहा है। महाराष्ट्र राज्य एनीमल वेलफेयर बोर्ड की सदस्य एड. सिद्ध विद्या ने बताया की इतने पुराने गौशाला को हटाने की कोशिश गलत है, सिडको पहले इन गायों के लिए सुरक्षति जगह दे।
गायों की सुरक्षा का होगा उपाय
पूरी जानकारी लेकर गायों की सुरक्षा को लेकर योग्य कदम उठाया जाएगा। सरकार भी गायों को बचाने और उनके संवर्धन के पक्ष में है। इस मामले में गौशाला के लोगों से भी बात करेंगे।
–महादेव जानकर, पशु संवद्र्धन मंत्री, महाराष्ट्र सरकार
–विधायक प्रशांत ठाकुर,अध्यक्ष ,सिडको