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खुद बीमार है मीरा भायंदर का मनपा अस्पताल

locationमुंबईPublished: Jun 14, 2019 02:06:01 pm

Submitted by:

Binod Pandey

-लिफ्ट बंद, ईसीजी मशीनें खराब, मानसून के साथ छत टपकना शुरू-निजी अस्पतालों के खिलाफ नागरिक, लेकिन सरकारी भी खस्ताहाल

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खुद बीमार है मीरा भायंदर का मनपा अस्पताल

राकेश विश्वकर्मा
मीरा भायंदर. कहने को तो मीरा भायंदर में 200 बेड वाला पंडित भीमसेन जोशी अस्पताल है, पर यह अस्पताल मनपा की लापरवाही के चलते खुद बीमार है। निजी अस्पतालों के मनमाने बिल के खिलाफ स्थानीय नागरिको ने मोर्चा खोल दिया है, तो दूसरी ओर करोड़ों की लागत से बना मनपा का जोशी अस्पताल अब अपनी अंतिम सांसे गिन रहा है। इसमें लगी चार लिफ्टों में सेलिफ्ट बंद, ईसीजी मशीनें खराब, मानसून के साथ छत टपकना शुरू
-निजी अस्पतालों के खिलाफ नागरिक, लेकिन सरकारी भी खस्ताहाल
तीन बंद है। मरीजों के लिए लाई गई दो ईसीजी मशीने भी बंद है। मानसून के तीसरे दिन ही अस्पताल की ऊपरी मंजिल टपकने लगी है।
मनपा संचालित इस अस्पताल में मरीजों का इलाज हो ना हो अस्पताल कर्मचारी अपनी मुसीबतें बताने का कोई मौका नहीं छोड़ते है। जोशी अस्पताल में दवाइयों का हमेशा टोटा रहता है। अक्सर देखा गया है कि मरीज के परिजन बाहर से दवाइयां खरीद कर लाते हैं। निवासियों ने मीरा भायंदर के कुछ निजी अस्पतालों के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है, पर लोगों की विवशता सरकारी अस्पतालों की दुर्दशा की वजह से उन्हें निजी अस्पतालों के पास जाने को विवश करती है।
महंगे इलाज से निजात दिलाने की मांग
निवासी निजी अस्पतालों का विरोध कर रहे हैं। नागरिक हाथ में बैनर ले कर महंगे इलाज से निजात दिलाने की मांग करते हैं। वह बताते हैं कि बुजुर्ग मरीज को भर्ती के साथ ही आईसीयू में डाल दिया जाता है, तो गर्भवती महिलाओ को नॉर्मल डिलेवरी की बजाय सिजेरियन डिलेवरी की सलाह दी जाती है। जब महिला के परिजन इनकार करे तो उन्हें जच्चा-बच्चा की जान को खतरा बताया जाता है। मीरा भायंदर के अधिकतर मरीजों को मुंबई मनपा संचालित अस्पतालों का रुख करना पड़ता है या कर्ज लेकर महंगे अस्पतालों में न चाहते हुए भी जाना पड़ता है।
नहीं चलाना चाहती अस्पताल
मीरा भायंदर मनपा पंडित भीमसेन अस्पताल को चलाने के पक्ष में ही नहीं थी और आज भी नहीं है। जोशी अस्पताल के उद्घाटन अवसर पर राज्य के स्वास्थ मंत्री डॉ दीपक सावंत ने कहा था की इस अस्पताल में जल्दी ही सर्जिकल विभाग शुरू कर दिया जाएगा और आनेवाले दिनों में यह अस्पताल सुपर स्पेशलिटी अस्पताल होगा। उद्घाटन समारोह में आए राज्य के वित्त मंत्री सुधीर मुनगंटीवार ने दावा किया था कि इस अस्पताल को कभी आर्थिक दिक्कत नहीं आएगी और आज आलम यह है की इस अस्पताल के कर्मचारियों को समय पर वेतन नहीं मिल पा रहा। अस्पताल में एक भी विशेषज्ञ नहीं है डॉक्टरों और नर्सो की कमी शुरुवाती दिनों से रही है।नागरिको ने मनमाने बिल पर अंकुश लगाने के लिए राज्य सरकार से ऑन लाईन शिकायत दर्ज करवाने की मांग की है। स्थानीय नागरिको की माने तो शहर के नेताओ के अपने महंगे और निजी अस्पताल है तो मनपा अस्पताल को सुपर स्पेशलिटी अस्पताल क्यों बनाएंगे।

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