मुंबईPublished: Apr 22, 2019 05:43:33 pm
Devkumar Singodiya
कमर तोड़ गड्ढों से गुजरते हैं ऑटो रिक्शा
विरार शहर मनपा क्षेत्र की जनता प्यासी
पालघर. यह कहना गलत नहीं होगा कि चुनाव के समय ही वोटरों की समस्या और मुश्किलें नेताओं और सत्ताधारी पार्टियों को याद आती हैं। लेकिन यह चुनावी दौर भी इस बार खाली जा रहा है, जनता की प्यास बुझाने में नेताओं के कोरा आश्वासन काम नहीं आए, जनता प्यासी ही रह गई है। वसई-विरार शहर मनपा क्षेत्र की जनता प्यासी है, तो प्रदूषण और अन्य समास्याओं ने मानो इसे ही अपना पसंदीदा क्षेत्र घोषित कर दिया है। मनपा में सत्ताधारी बहुजन विकास अघाड़ी पिछले कई वर्षों से सत्ता पर काबिज है, लेकिन यहां की जनता के लिए जो विकास होना चाहिए था, नहीं हुआ।
जमीनी स्तर पर ज्यादातर विकास कागजी साबित हुए हैं। मनपा क्षेत्र में पीने के पानी की समस्या अभी भी चुनिंदा लोगों को ही मिल पाई है। अधिकतर लोग आज भी मनपा विभाग के चक्कर लगा रहे हैं। कई क्षेत्रों में वोट के लिए जल्दबाजी में पानी की पाइप लाइन तो डाल दी गई। लेकिन बिन पानी सब सून है, लोग आज भी लीकेज पानी के सहारे गले की प्यास बुझाने के लिए मजबूर हैं। पालघर लोकसभा चुनाव प्रचार के दौरान आधे अधूरे जनता तक पहुंचे पानी पर बहुजन विकास आघाडी और भाजपा सरकार अपना-अपना दावा ठोक कर श्रेय लूटने में लगे हैं। यहां राजनीतिक पार्टियां एक बार फिर जनता के साथ विश्वासघात के लिए जुटी हुई प्रतीत हो रही हैं।