scriptडेढ़ फीट नीचे गया भूजल स्तर पेयजल के लिए मचा हाहाकार | Ground water level below 1.5 feet below | Patrika News

डेढ़ फीट नीचे गया भूजल स्तर पेयजल के लिए मचा हाहाकार

locationमुंगेलीPublished: May 16, 2019 11:23:24 am

Submitted by:

Murari Soni

ग्रामीणों को निजी ट्यूबवेलों का लेना पड़ रहा सहारा

Ground water level below 1.5 feet below

डेढ़ फीट नीचे गया भूजल स्तर पेयजल के लिए मचा हाहाकार

खम्हरिया. पानी की समस्याओं से निजात दिलाने अफसरों ने दौरा किया था। बावजूद इसके क्षेत्र के अधिकतर ग्रामों में आग उगलते भीषण गर्मी में जहां तापमान 45डिग्री के पार पहुंच चुका है, पेयजल के लिए जुझना पड़ रहा है। दर्जनों हैडपंपों से पानी आना बंद हो गया है। बिल्हा व मस्तूरी विकासखंड के ग्रामों के पंचायतों में लाखों रुपए खर्च कर नलजल योजना के तहत बनी पानी की टंकी लापरवाही के कारण बेकार पड़े हुए हैं। पंचायतों खम्हरिया, गुडी, उच्चभठ्ठी, दर्राभांटा, लुतरा, कुकदा, निरतु में पानी टंकी शो पीस के रूप में बना हुआ है, जिसे अधिकारी एवं पंचायत प्रशासन भूल गया हैंं।
कबारीडीह मोहल्लों में एक दो हैडपंपों से ही लोगों को बड़ी मशक्कत के बाद पानी मिलता है। उच्चभठ्ठी में चार हजार से अधिक जनसंख्या वाला ग्राम है, जहो वाटर लेवल काफी नीचे चला गया है। पानी कम होने के कारण सभी हैडपंप ड्राई हो गया है। इससे पानी के लिए विकराल रूप निर्मित हो गया है। इधर ग्रामीणों का प्रश्र है कि शासन का पानी देने वाला प्लान क्या गर्मियों के बाद बनेगा? किल्लत झेल रहे ग्रामीणों में प्रशासन के प्रति काफी रोष है।
कबारीडीह के संतोष कुमार बर्मन, शिवदयाल रेड्डी, राम अवतार रात्रे, मीरा बाई रात्रे, सकीना रात्रे आदि ग्रामीणों का कहना है कि पानी के लिए भीखूलाल ठडंन के टियुबवेल पंप से पानी लाने करीब डेढ़ किमी की दूरी महिलाएं बच्चों को तय करनी पड़ती है। निस्तारी तक के लिए पानी की व्यवस्था करने भीषण गर्मी में इतना दूर जाना पड़ रहा है। दिन का आधा टाइम तो पानी लाने में बीत जाता हैं। इन सभी समस्याओं के लिए सरपंच प्रतिनिधि भागवत यादव से संपर्क करने की कोशिश की गई पर संवाद स्थापित नहीं हो सका।
संरपचों की लापरवाही के कारण ग्रामीण क्षेत्रों में बनी पानी की टंकी शो पीस साबित हो रही हंै
ग्राम उच्चभठ्ठी में तीस साल पहले गांव के घरों तक पीने का पानी पहुंचे इसलिए नलजल योजना के तहत पानी टंकी का निर्माण कराया गया था। कुछ साल तो ग्रामीणों को घर बैठे पीने का पानी मिला। उसके बाद में पंचायत द्वारा बिजली बिल का भुगतान नहीं पटाने और कनेक्शन विद्युत विभाग द्वारा काट दिए जाने का नतीजा है कि पानी की टंकी शो पीस बन कर रह गई। ऐसे में घरों में पानी की सप्लाई ठप हो गया है। 
loksabha entry point

ट्रेंडिंग वीडियो