दरअसल बुधवार को मुजफ्फरनगर में भीम आर्मी एकता मिशन कार्यकर्ताओं ने अपने पूर्व प्रस्तावित कार्यक्रम के अनुसार दलितों पर हो रहे अत्याचार के विरोध में धरना प्रदर्शन किया और सामूहिक रूप से गिरफ्तारी दी।
इस दौरान भीम आर्मी एकता मिशन के नेता टीकम बोध ने केंद्र और राज्य की सरकार पर दलित विरोधी होने का आरोप लगाते हुए बताया कि केंद्र व राज्य सरकार कि दलित विरोधी मानसिकता के चलते दलित समाज व सामाजिक संगठन भीम आर्मी कार्यकर्ताओं का उत्पीड़न चरम सीमा पर है।
दिल्ली में रविदास मंदिर तोड़े जाने का विरोध करने पर भीम आर्मी प्रमुख चंद्रशेखर सहित 96 पर्दशनकरियों को झूठे मुकदमें लगा कर जेल भेज दिया गया है, जबकि दूसरा मामला सहारनपुर के धुन्ना मेहेश्वरी में डॉक्टर भीमराव अंबेडकर की प्रतिमा तोड़े जाने पर दलित समाज भीम आर्मी के कार्यकर्ता शांतिपूर्वक प्रदर्शन कर रहे थे। तभी पुलिस प्रशासन ने प्रदर्शनकारियों पर लाठीचार्ज कर भगा दिया और बाद में 104 नामजद व 750 के खिलाफ अज्ञात मुकदमा दर्ज कर लिया जो कि गैर संवैधानिक है। इसी के विरोध में बुधवार को भीम आर्मी मुजफ्फरनगर के कार्यकर्ताओ ने अपनी सामूहिक गिरफ्तरी देकर विरोध प्रदर्शन किया है।