नागौर. सूफी संत हमीदुद्दीन नागौरी के सोमवार को हुए बड़े उर्स के मौके पर जियारत को पहुंचे जायरीन तथा रोशनी से जगमगाती दरगाह का विहंगम नजारा।
बड़े उर्स के मौके पर अजमेर से नागौर पहुंची ख्वाजा साहब की चादर की जियारत के लिए जायरीन भी इंतजार करते नजर आए। तहसील चौक से दरगाह तक निकाले गए जुलूस के दौरान कलंदरों ने हैरतअंगेज करतब दिखाए।
चादर चढ़ाकर पेश किए अकीदत के फूल
नागौर. सूफी संत हमीदुद्दीन नागौरी
देर रात कव्वालों ने बांधा समां बड़े उर्स के मौके पर आयोजित कार्यक्रम में देश के मशहूर कव्वाल जुनैद सुल्तानी ने ’हक निभाना मेरे हुसैन का है, हर जमाना मेरे हुसैन का है...’, ’हम सारे गरीबों का मददगार है ख्वाजा...’, ’जिस पर है मुझे यकीन... वो है काजी हमीदुद्दीन नागौरी...सहित अन्य कव्वालों ने भी कव्वालियां पेश कर जायरिनों को पूरी रात बांधे रखा। इस मौके पर विशेष फातिहा का भी आयोजन किया गया।
नागौर. सूफी संत हमीदुद्दीन नागौरी के बड़े उर्स के मौके पर जियारत को पहुंचे जायरीन
नागौर. जियारत को पहुंचे जायरीन तथा रोशनी से जगमगाती दरगाह का विहंगम नजारा।
ऊंटनी पर निकला चादर का जुलूस बड़े उर्स के मौके पर अजमेर ख्वाजा साहब की दर से आई विशेष चादर का ऊंटनी पर जुलूस निकाला गया। यहां तहसील चौक स्थित शाहजानी मस्जिद से दोपहर को सवा दो बजे ऊंटनी पर सवार जोधपुर के काजी वहीद अली अपने सिर पर चादर रख कर जुलूस के रूप में रवाना हुए।