scriptमुनाफे के लालच में प्रवेश के गोरखधंधे में फंसे बच्चे | Children stranded in the greed of entering the greed of profit | Patrika News

मुनाफे के लालच में प्रवेश के गोरखधंधे में फंसे बच्चे

locationनागौरPublished: Apr 25, 2018 12:13:16 pm

Submitted by:

Sharad Shukla

प्राइवेट स्कूल एसोसिएशन ने निजी शिक्षण संस्थानों पर लगाए आरोप पहली कक्षा के बच्चों को सीधे तीसरी, पांचवीं एवं छठी में प्रवेश बिगाड़ रहे बच्चों का भवि

Nagaur patrika

Guinani school again operated in single innings

नागौर. कई निजी शिक्षण संस्थान बच्चों के भविष्य से खिलवाड़ करने के साथ ही शिक्षा के बुनियादी ढांचे को खत्म करने में लगे हुए हैं। योग्यता नहीं होने के बाद भी केवल अपने मुनाफे के लिए एक निजी स्कूल के बच्चों को दूसरे निजी विद्यालय की अगली कक्षा में केवल शपथपत्र के आधार पर ही प्रवेश देने के गोरखधंधे में निजी विद्यालयों के साथ अभिभावक भी लगे हुए हैं। प्राइवेट स्कूल एसोसिएशन के पदाधिकारियों ने सरकारी अधिकारियों के साथ ही बच्चों के भविष्य को बिगाडऩे के आरोप निजी शिक्षण संस्थानों एवं अभिभावकों पर मंगलवार को प्रेस कांफ्रेंस में लगाए। एसोसिएशन की ओर से जिला सचिव विनेश शर्मा व जिला संयोजक ललित पाराशर ने आरोप लगाते हुए कहा कि शहर में ऐसे 40 के लगभग शिक्षण संस्थान इस गोरखधंधे में लगे हुए हैं। कुछ निजी शिक्षण संस्थान बीते दो साल से इस प्रकार की कारगुजारी करने में लगे हैं। इसके कारण बाद में कई बच्चे कमजोर रह जाते हैं और आगे चलकर उनका भविष्य दांव पर लग जाता है। सचिव शर्मा ने बताया कि तीसरी कक्षा में पढऩे वाले बच्चे को सीधे ही पांचवीं में प्रवेश दे दिया जाता है, जबकि बच्चे में पांचवी कक्षा में पढऩे की योग्यता नहीं होती है। बोर्ड परीक्षा तक पहुंचने पर विद्यार्थी की स्थिति खराब हो जाती है। जिला संयोजक पाराशर ने कहा कि कुछ निजी शिक्षण संस्थानों की इस कारगुजारी पर जल्द ही रोक नहीं लगी तो कई बच्चों का भविष्य बिगड़ जाएगा। विद्यालयों की मुख्य भूमिका बच्चों का शैक्षिक उन्नयन करने की होती है, न कि मुनाफे की आड़ में उनके भविष्य से खिलवाड़ करना।
आधार कार्ड में घालमेल
एसोसिएशन के पदाधिकारियों ने आरोप लगाया कि ऐसे संस्थानों की ओर से आधार कार्ड अंकन के दौरान भी घालमेल किया जाता है, ताकी वे पकड़े नहीं जा सके। एसोसिएशन के पदाधिकारियों का मानना है कि ऐसे प्रकरणों की जांच होने पर कई सनसनीखेज मामले सामने आ सकते हैं। इस दौरान एसोसिएशन के प्रहलाद जाजड़ा, दिलदार खां एवं हरदेवराम गारू आदि भी मौजूद थे।
क्या कहते हैं शिक्षाधिकारी
जिला शिक्षाधिकारी प्रारंभिक रजिया सुलताना का कहना था कि अब तो विद्यालयों में प्रवेश के दौरान ही आधार कार्ड का अंकन किया जाता है। इस तरह के कथित रूप से प्रवेश संभव ही नहीं हैं।
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