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नावां में नमक व्यापारी पूनिया पर फायरिंग
गौरतलब है कि जयपुर ले जाते समय पूनिया की मौत के बाद सोमवार को शव नावां अस्पताल की मोर्चरी में रखवाया गया था, लेकिन डी-फ्रीज खराब होने से शव से बदबू आने लगी है। सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार नावां चिकित्सालय में डी-फ्रीज नहीं है, लेकिन समाज सेवी संस्था ने कोरोना काल में दान दिया था। नावां चिकित्सक डॉ. ओमसिंह ने बताया कि डी-फ्रीज वर्तमान में यूजफुल नहीं है। इस सम्बन्ध में उच्च अधिकारियों को अवगत कराया है, जल्द समाधान हो, इस बारे में अभी कुछ कहा नहीं जा सकता है। भाजपा प्रदेशाध्यक्ष पूनियां पहुंचे धरना स्थल
जयपाल पूनिया हत्याकांड के आरोपियों को गिरफ्तार करने सहित अन्य मांगों को लेकर एसडीएम कार्यालय के समक्ष धरना दे रहे परिजनों को भाजपा ने भी समर्थन दिया है। पिछले दो दिन से सीआर चौधरी, विजय सिंह चौधरी सहित जिले के लगभग सभी भाजपा नेता धरने पर बैठे हैं। सोमवार सुबह भाजपा प्रदेशाध्यक्ष सतीश पूनियां भी धरना स्थल पर पहुंच गए, वहीं पूर्व विधायक हरीश कुमावत ने भूख हड़ताल शुरू कर दी।
जयपाल पूनिया हत्याकांड के आरोपियों को गिरफ्तार करने सहित अन्य मांगों को लेकर एसडीएम कार्यालय के समक्ष धरना दे रहे परिजनों को भाजपा ने भी समर्थन दिया है। पिछले दो दिन से सीआर चौधरी, विजय सिंह चौधरी सहित जिले के लगभग सभी भाजपा नेता धरने पर बैठे हैं। सोमवार सुबह भाजपा प्रदेशाध्यक्ष सतीश पूनियां भी धरना स्थल पर पहुंच गए, वहीं पूर्व विधायक हरीश कुमावत ने भूख हड़ताल शुरू कर दी।
परिजनों ने कहा – व्यापारी को जबरदस्ती बनाया हिस्ट्रीशीटर
जयपाल पूनियां के परिजन विजय सिंह पूनियां ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि व्यापारी व उद्यमी को जबरदस्ती हिस्ट्रीशीटर बनाया गया है। जब जयपाल नावां आया था, तब पहले मोतीसिंह से ही मिला था। आरोप लगाया कि बाहर से आने वाले लोगों को जाल में फंसा कर मोती सिंह अवैध कुएं खुदवाता है, उनके साथ पार्टनरशीप कर दगा करता है। पूनिया के भाई ने कहा कि पिछले 2 से ढाई साल में जयपाल के खिलाफ करीब एक दर्जन मुकदमे दर्ज करवा दिए। हिस्ट्रीशीटर वह होता है, जिस व्यक्ति के खिलाफ आजीवन कारावास के मुकदमे दर्ज हों तथा तीन मुकदमों में सजा हो जाए। उसके बाद हिस्ट्रीशीट खोली जाती है। जयपाल की हिस्ट्रीशीट फाइल खोलकर दुष्प्रचार किया जा रहा है, जबकि वो कोई हिस्ट्रीशीटर नहीं था। सांसद से हमने न्याय की मांग की है, उन्होंने आश्वस्त किया न्याय दिलाकर रहेंगे।
जयपाल पूनियां के परिजन विजय सिंह पूनियां ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि व्यापारी व उद्यमी को जबरदस्ती हिस्ट्रीशीटर बनाया गया है। जब जयपाल नावां आया था, तब पहले मोतीसिंह से ही मिला था। आरोप लगाया कि बाहर से आने वाले लोगों को जाल में फंसा कर मोती सिंह अवैध कुएं खुदवाता है, उनके साथ पार्टनरशीप कर दगा करता है। पूनिया के भाई ने कहा कि पिछले 2 से ढाई साल में जयपाल के खिलाफ करीब एक दर्जन मुकदमे दर्ज करवा दिए। हिस्ट्रीशीटर वह होता है, जिस व्यक्ति के खिलाफ आजीवन कारावास के मुकदमे दर्ज हों तथा तीन मुकदमों में सजा हो जाए। उसके बाद हिस्ट्रीशीट खोली जाती है। जयपाल की हिस्ट्रीशीट फाइल खोलकर दुष्प्रचार किया जा रहा है, जबकि वो कोई हिस्ट्रीशीटर नहीं था। सांसद से हमने न्याय की मांग की है, उन्होंने आश्वस्त किया न्याय दिलाकर रहेंगे।