scriptतो अब स्कूल के गुरुजनों को यह काम भी करना पड़ेगा…! | So now the teachers of the school will have to do this work too | Patrika News

तो अब स्कूल के गुरुजनों को यह काम भी करना पड़ेगा…!

locationनागौरPublished: May 08, 2019 11:23:58 am

Submitted by:

Sharad Shukla

शिक्षा विभाग ने प्रवेशोत्सव में हुए नामांकन सत्यापन के लिए जिला एवं ब्लॉक स्तर पर बनाई कमेटी, ज्यादा नामांकन करने वाले शिक्षण संस्थानों को मिलेगा सम्मान

Nagaur patrika

Everyone was stunned by this miracle

नागौर. प्रवेशोत्सव में बेहतर काम करने वालों को न केवल सम्मानित किया जाएगा, बल्कि इनाम भी दिए जाएंगे। कार्य में लापरवाही बरतने वालों के खिलाफ कार्यवाही अमल में लाई जाएगी। विभागीय अधिकारियों का कहना है कि इसमें शिक्षा के साथ अन्य महकमों को भी जोड़ दिया गया है। विभाग की ओर से गाइड लाइन जारी की गई है। इसके तहत शून्य से अठारह वर्ष के बालक-बालिकाओं को चिन्हित कर आंगनबाडिय़ों और स्कूलों से जोडऩे के लिए शिक्षकों को जिम्मेदारियां सौंपी गई है। कार्य की प्रगति और परिणाम के आधार पर प्रत्येक शिक्षक की उपलब्धि को शाला दर्पण से जोड़ा जाना प्रस्तावित है। यही नहीं इसमे फर्जीवाड़ा रोकने के लिए ब्लॉक और जिला स्तर पर कमेठी भी गठित की जा रही है। यह कमेठी सर्वे और शिक्षक की ओर से सरकारी विद्यालय से जोडऩे के लिए किए गए प्रयासों का सत्यापन भी करेगी। सर्वश्रेष्ठ कार्य करने वालों को राष्ट्रीय पर्वो पर सम्मान मिलेगा। नामांकन में अप्रत्याशित कमी आने पर सम्बंधित शिक्षकों पर गाज गिर सकती है। विभाग ने इनके खिलाफ प्रशासनिक कार्यवाही करने की चेतावनी दे दी है।
अच्छा काम हुआ तो विद्यालय को अनुदान
समसा के कार्यवाहक सीडीईओ हरीराम भाटी ने बताया कि नए नियमों के तहत प्रत्येक ब्लॉक के सर्वाधिक नामांकन वाले और नामांकन में वृद्धि करने वाले दो उमाविद्यालय, एक मावि, एक उप्रावि और एक प्राथमिक विद्यालय को अतिरिक्त अनुदान दिया जाना प्रस्तावित है। शिक्षा विभाग की ओर से फिलहाल प्रवेशोत्सव अभियान में शत-प्रतिशत नामांकन, ठहराव एवं शून्य ड्राप आउट वाली पंचायतों को प्रोत्साहित करने के लिए उजियारी पंचायतों के रूप मे सम्मानित किया जाएगा। इसके के लिए मापदण्ड भी तय किए गए हैं। उजियारी पंचायत के लक्ष्य की पूर्ति के लिए विद्यालय स्तर, सर्वेकर्ता शिक्षक के दायित्व, पीईईओ स्तर, ब्लॉक स्तर, जिला स्तर के कार्य तय किए जाने के साथ अभियान की सफलता के लिए गैर सरकारी संस्थाओं की भूमिका, व्यापक प्रचार-प्रसार के साथ सराहनीय कार्य करने वालों को सम्मानित कर प्रोत्साहित करने के मापदंड बने हैं।

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