ऑटो-टैक्सी की हर समय जरूरत
उल्लेखनीय है कि शहर में कई स्थल दूर-दूर स्थापित है। इन तक पहुंचने के लिए लोगों को वाहन की आवश्यकता रहती है। जिला अस्पताल भी शहर से बाहर है। वहीं अन्य कई कार्यालय भी अलग-अलग जगहों पर व दूर है। इससे निजी वाहन नहीं होने पर लोगों को ऑटो व टैक्सी की हर समय जरूरत रहती है।
उल्लेखनीय है कि शहर में कई स्थल दूर-दूर स्थापित है। इन तक पहुंचने के लिए लोगों को वाहन की आवश्यकता रहती है। जिला अस्पताल भी शहर से बाहर है। वहीं अन्य कई कार्यालय भी अलग-अलग जगहों पर व दूर है। इससे निजी वाहन नहीं होने पर लोगों को ऑटो व टैक्सी की हर समय जरूरत रहती है।
रोडवेज में यात्रियों को भेजा हाथरस
नागौर. नागौर जिले में अटके प्रवासी श्रमिकों को उनके घर तक पहुंचाने का काम सुचारू रूप से चल रहा है। रोडवेज बस से शुक्रवार को 27 यात्रियों को हाथरस भेजा गया।
आगार मुख्य प्रबंधक ने बताया कि नागौर से उत्तरप्रदेश में हाथरस के लिए बस रवाना की गई। इसमें 27 यात्री सवार थे। सभी यात्रियों को बस स्टैंड पर सेनेटाइज किया गया। साथ ही स्वास्थ्य परीक्षण कर बसमें बैठाया। बस को भी पूरी तरह सेनेटाइज किया। इसके बाद रवानगी दी गई।
हरिद्वार गए 32 यात्री
नागौर से 32 यात्रियों को स्पेशल बस से हरिद्वार के लिए निशुल्क रवाना किया गया। मोक्ष कलश स्पेशल यात्रा के तहत निकली इस बस में यात्री अपने परिजनों का तर्पण करने हरिद्वार जा रहे हैं। इस बस में 16 कलश ले जाए गए।
नागौर. नागौर जिले में अटके प्रवासी श्रमिकों को उनके घर तक पहुंचाने का काम सुचारू रूप से चल रहा है। रोडवेज बस से शुक्रवार को 27 यात्रियों को हाथरस भेजा गया।
आगार मुख्य प्रबंधक ने बताया कि नागौर से उत्तरप्रदेश में हाथरस के लिए बस रवाना की गई। इसमें 27 यात्री सवार थे। सभी यात्रियों को बस स्टैंड पर सेनेटाइज किया गया। साथ ही स्वास्थ्य परीक्षण कर बसमें बैठाया। बस को भी पूरी तरह सेनेटाइज किया। इसके बाद रवानगी दी गई।
हरिद्वार गए 32 यात्री
नागौर से 32 यात्रियों को स्पेशल बस से हरिद्वार के लिए निशुल्क रवाना किया गया। मोक्ष कलश स्पेशल यात्रा के तहत निकली इस बस में यात्री अपने परिजनों का तर्पण करने हरिद्वार जा रहे हैं। इस बस में 16 कलश ले जाए गए।