scriptनरसिंहपुर में 884 किसानों के 2.86 करोड़ के फसल ऋण माफ | 884 farmers in Narsinghpur waived crop loan of 2.86 crores | Patrika News

नरसिंहपुर में 884 किसानों के 2.86 करोड़ के फसल ऋण माफ

locationनरसिंहपुरPublished: Feb 27, 2019 08:50:15 pm

Submitted by:

ajay khare

विधानसभा अध्यक्ष प्रजापति ने किसानों को वितरित किये ऋण माफी प्रमाण पत्र

विधानसभा अध्यक्ष प्रजापति ने किसानों को वितरित किये ऋण माफी प्रमाण पत्र

विधानसभा अध्यक्ष प्रजापति ने किसानों को वितरित किये ऋण माफी प्रमाण पत्र

नरसिंहपुर। मध्यप्रदेश विधानसभा के अध्यक्ष नर्मदा प्रसाद प्रजापति ने नरसिंहपुर में जय किसान फसल ऋण माफी योजना का शुभारंभ दीप प्रज्जवलित कर मंगलवार को जनपद मैदान नरसिंहपुर में किया। श्री प्रजापति ने यहां किसान सम्मान प्रमाण पत्र एवं ऋण माफी प्रमाण पत्र किसानों को वितरित किये। नरसिंहपुर में 884 किसानों के 2 करोड़ 86 लाख 79 हजार 390 रूपये के फसल ऋण माफ किये गये। चालू खाते एवं नियमित रूप से बैंक से लेनदेन करने वाले 327 किसानों को किसान सम्मान प्रमाण पत्र प्रदान किये गये। इस अवसर पर आयोजित कार्यक्रम की अध्यक्षता पूर्व विधायक सुनील जायसवाल ने की।
उल्लेखनीय है कि आगामी माहों में नरसिंहपुर क्षेत्र के करीब 15 हजार किसानों को जय किसान फसल ऋण माफी योजना का लाभ मिलेगा। पहले चरण में सहकारी बैंक के कालातीत ऋण वाले किसानों के ऋण माफ किये गये हैं। इसके बाद ग्रामीण एवं राष्ट्रीयकृत बैंकों से संबंधित फसल ऋण माफ किये जायेंगे।
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए विधानसभा अध्यक्ष प्रजापति ने कहा कि किसानों की कठिनाईयों को समझते हुए दिये गये वचन के अनुसार राज्य सरकार ने किसानों के दो लाख रूपये तक के फसल ऋण माफ करने का निर्णय लिया है। पहले चरण में सहकारी बैंक से संबंधित फसल ऋण माफ किये जा रहे हैं। आगामी माहों में जिले के करीब 95 हजार किसानों के दो लाख रूपये तक के फसल ऋण माफ किये जायेंगे। नरसिंहपुर क्षेत्र के करीब 15 हजार किसानों के फसल ऋण माफ किये जायेंगे इसका सिलसिला शुरू हो गया है। प्रदेश में किसानों को प्रति यूनिट 65 पैसे की दर से बिजली मिल रही हैए जो देश में सबसे सस्ती दर है।
प्रजापति ने कहा कि निराश्रित गायों के लिए राज्य सरकार प्राथमिकता से गौशाला का निर्माण करा रही है। जिले में 30 गौशाला बनाई जा रही हैं। गौशाला के साथ चारागाह भी विकसित किया जायेगा। पीने के लिए पेयजल की व्यवस्था भी की जायेगीए पानी की टंकी बनवाई जायेगी। भूसा रखने के लिए गोदाम की व्यवस्था भी गौशाला में रहेगी। जिन पंचायतों में 15 से 20 एकड़ तक की भूमि उपलब्ध होए वे भी गौशाला के लिए प्रस्ताव दे सकती हैं। राज्य सरकार निरंतर जनहितैषी फैसले ले रही है। प्रदेश में विकास और जनकल्याण का सिलसिला आगे भी जारी रहेगा।
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