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बारदाना के वजन की आड़ में तौल रहे अधिक गेहूं

locationनरसिंहपुरPublished: May 13, 2019 09:00:29 pm

Submitted by:

abishankar nagaich

सफेद बारदाना का वजन कम फिर भी तौल रहे अधिक गेहंू
 

wheat procurement

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गोटेगांव
सफेद और खाकी बारदानों का वजन अलग- अलग रहता है। सफेद बारदाना का वजन बहुत कम होता है मगर गेहूं की तुलाई में अधिक गेहूं तौलने की शिकायत किसानों ने की है। किसानों का कहना है कि एक ओर बारदानों में अधिक तुलाई की जा रही है, वहीं दूसरी ओर तुलाई करने वाले चुंगी के नाम से बिखरे गेहूं को समेट का पूरा अपने पास रख लेते हैं। इसके कारण घर से किसान जितना गेहंू ला रहे हंै वह तुलाई सेंटर पर कम हो जाता है।
एक किसान ने बताया कि गेहूं खरीदी केन्द्र पर खाकी बारदाना में 51300 ग्राम के अनुसार गेहूं की तुलाई की गई । वहीं अब सफेद बारदाना में 50700 की तुलाई इमलिया सेंटर में की जा रही है। गोटेगांव गेहूं खरीदी केन्द्र में 50800 ग्राम की तुलाई करने की बात किसान ने बताई है। बिचौलियों के गेहूं में किसी प्रकार की गड़बड़ी नहीं की जाती है क्योंकि वह अलग से तुलाई वालों को राशि थमा देते है। यह सब गड़बड़ी किसानों के गेहूं में की जा रही है।
गेहूं की आवक कम हुई
वर्तमान समय में शादी विवाह अधिक होने से खरीदी केन्द्र पर गेहूं चना लाने वाले किसानों की संख्या में कमी आई है। वही कुछ लोगों का कहना है कि खरीदी केन्द्र में तुलाई करने वाले कांटों की संख्या अधिक होने के कारण किसानों का गेहूं अधिकतर तुल चुका है। इसके कारण गेहूं कम ही किसानों के पास बचा है। चना खरीदी केन्द्र में अवश्य तुलाई करने वाले छनाई के नाम से राशि वसूल कर रहे है। छनाई के नाम पर 100 रुपए क्विंटल चना में राशि वसूलने की बात सामने आई है। यहां पर किसी का चना छाना जाता है तो किसी का चना बिना छाने ही तौल दिया जाता है। बाजार में चना के भाव बढऩे के कारण भी चना केन्द्र पर नहीं आ रहा है।
कांटे वाले कर रहे आराम
गोटेगांव मंडी में जितने कांटंों की संख्या मौजूद है उनमें से कुछ ही कांटों वालों के इधर गेहूं तुलाई के लिए आ रहा है। अधिकांश कांटे वाले खाली बैठे हैं। वह रात के समय उनके तुलाई स्थल पर जो बिचौलियों के गेहूं के बारदाना उसको पलटा कर सरकारी बारदानों में भरने का कार्य करते है। अधिकांश कांटो वालों के पास गेहूं की आवक कम है अब वह परिवहन पर आने वाले वाहन का इंतजार कर रहे हैं।
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