scriptनहर फूटने से 50 हेक्टेयर में तबाह हुई मूंग, उड़द और सब्जियां, जल गईं सिंचाई के लिए रखीं मोटर | Mud, urad and vegetables, destroyed in 50 hectares of canal blast, kep | Patrika News

नहर फूटने से 50 हेक्टेयर में तबाह हुई मूंग, उड़द और सब्जियां, जल गईं सिंचाई के लिए रखीं मोटर

locationनरसिंहपुरPublished: May 29, 2019 07:53:55 pm

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ajay khare

प्रशासन ने नुकसान का सर्वे कराया सहायता राशि के लिए शासन को भेजा जा रहा प्रस्ताव

नर्मदा के उत्तर से दक्षिण तट तक 90  किमी में एक ही मुद्दा नर्मदा से रोकें अवैध खनन

narsinghpur narmada river

गोटेगांव . रानी अवंतीबाई सागर परियोजना की बाईं मुख्य नहर फूटने की वजह से गोटेगांव के सर्रा गांव सहित अन्य स्थानों पर व्यापक नुकसान हुआ है। शुरुआती सर्वे के अनुसार करीब ५० हेक्टेयर क्षेत्र में मूंग,उड़द और शाक सब्जियों को नुकसान होने के साथ ही करीब ५० किसानों की मोटरें जल गई हैं। प्रशासन ने घटना के तुरंत बाद नुकसान का सर्वेकराया है और पीडि़त किसानों को सहायता राशि उपलब्ध कराने के लिए शासन को प्रस्ताव भेजा जा रहा है। दूसरी ओर नहर विभाग घटना के २४ घंटे बाद भी नहर फूटने के लिए अपने अमले की जिम्मेदारी तय नहीं कर पाया है न ही नहर फूटने के तकनीकी कारण बता सका है। बुधवार को नहर का पानी पूरी तरह बंद होने पर यहां खेतों में फसलों की बर्बादी देखने को मिली।
सर्रा टपरिया गांव के नाले उफनाए, पुलिस ने लगाए बेरिकेट
गोटेगांव से १५ किलोमीटर दूर फूटी नहर का पानी सर्रा गांव में रात के समय इतनी अधिक मात्रा में पहुंचा कि यहां के नाले उफान पर आ गए । पुलिस प्रशासन ने रात के समय दो उफनाते नालों के पास बेरिकेट लगा कर आवागमन बंद कराया। अतिरिक्त पुलिस बल लाईन से बुला कर तैनात किया गया। जब पानी उतर गया तब सुबह आवागमन प्रारम्भ हो सका।
रेलवे बोगदा पुल के नीचे भरा पानी, फंस गई बस
नहर का यह पानी गोटेगांव के नाले में रात एक बजे आने के बाद यहां पर लबालब हो गया था जिससे गोटेगांव परमहंसी गंगा सडक़ मार्ग पर रेलवे के बोगदा पुल से आवागमन बुधवार को बंद रहा । जब पानी पूरी तरह से उतर गया तब शाम को उक्त मार्ग प्रारम्भ हुआ। सुबह पानी कुछ उतरने के बाद एक बस चालक ने यहां से बस को निकालने का प्रयास किया तो फंस गई। एक ट्रेक्टर की सहायता से बस को खींच कर बाहर निकाला गया।
गन्ना किसानों को राहत, उड़द,मूंग लगाने वालों को आफत
जिन किसानों के खेतों में गन्ना लगा हुआ था उनके लिए यह पानी वरदान साबित हुआ है वहीं जिन किसानों ने अपने खेतों में मूंग, उड़द, सब्जी लगाई थी उन्हें काफी नुकसान उठाना पड़ा है।
सर्वे टीम मौके पर पहुंची
कलेक्टर के निर्देश पर राजस्व और कृषि विभाग के अधिकारियो की टीम ने मौके पर पहुंच कर नुकसान का सर्वे किया। तहसीलदार बीएन गजबिए के साथ आरआई, पटवारी , कृषि विकास अधिकारी आरएन त्रिपाठी ने सर्वे किया। कलेक्टर ने सर्वे करने वाले कर्मचारियों से स्पष्ट कहा कि एक भी किसान जिसका नुकसान हुआ है वह सर्वे में छूटना नहीं चाहिए।
लोगों को मिला मत्स्य आखेट का मौका
सुबह के समय नहर का पानी उतरने के बाद मछलियां इधर उधर छटपटा रहीं थीं उनको पकडने के लिए गांव के लोग नहर के अंदर पहुंच गए और उन्होंने मेन केनाल के अंदर जाकर जमकर मछलियां पकड़ीं।
पानी बंद होने से जिले में कई स्थानों पर फसलों को होगा नुकसान
उक्त नहर का पानी गोटेगांव के अलावा नरसिंहपुर, करेली की ओर जा रहा था गर्मी में छोटी नहरें चलने से गांव के लोगों को राहत मिल रही थी। किसान अपने गन्ना, उड़द की फसल को नहर के पानी से सिंचित कर रहे थे मगर अब उक्त नहर के माध्यम से ऐसे किसानों को पानी नहीं मिलेगा। नहर के पानी पर आश्रित किसानों की फसल पानी नहीं मिलने से सूख जाएगी क्योंकि क्षतिग्रस्त नहर को सुधारने में काफी समय लग जाएगा।
१५ फीट से अधिक पानी बह रहा था पानी
सिंचाई विभाग के एक कर्मचारी ने बताया कि मुख्य नहर में मंगलवार को १५ फुट से अधिक पानी प्रवाहित हो रहा था। इतना पानी उसी समय खोला जाता है जब पानी को लम्बी दूरी तक पहुंचाना हो। यहां के रहवासियों ने बताया कि जिस स्थल पर नहर फूटी है उसके पास ही ठंड के मौमस में विभाग ने रिपेयरिंग का कार्य कराया था इस हिस्से से भी पानी अधिक मात्रा में रिस रहा है।
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कलेक्टर ं एसपी ने दूसरे दिन फिर किया मुआयना, खेतों में जाकर देखा फसलों का नुकसान
ंनरसिंहपुर. कलेक्टर दीपक सक्सेना और पुलिस अधीक्षक डॉ.गुरकरन सिंह ने दूसरे दिन भी प्रभावित गांवों में मौके पर जाकर जायजा लिया। कलेक्टर एवं एसपी ने बुधवार को फिर से बरगी नहर के पानी से प्रभावित क्षेत्रों का मुआयना किया। उन्होंने गोटेगांव शहर में रेलवे अंडर ब्रिज के समीप, लाठगांव के समीप, सर्रा, तिघरा आदि स्थानों पर जाकर स्थिति का जायजा लिया। मौके पर जाकर क्षतिग्रस्त नहर का अवलोकन भी किया। अब इस क्षेत्र में स्थिति पूरी तरह सामान्य है, जल का बहाव न्यूनतम स्तर पर है। कलेक्टर, पुलिस अधीक्षक ने सर्रा में खेतों में पानी भर जाने से प्रभावित फसलों का मुआयना किया। उन्होंने ग्रीष्मकालीन मूंग और सब्जी की फसलें देखीं। यहां खेतों का पानी निकल चुका है, परंतु फसल को नुकसान हुआ है। कलेक्टर ने एसडीएम से नहर के पानी से हुई क्षति के बारे में जानकारी ली। कलेक्टर के निर्देशानुसार फसल क्षति और अन्य प्रकार की नुकसानी के आंकलन के लिए राजस्व एवं कृषि विभाग की तीन संयुक्त टीमें गठित की गईं थीं। इन टीमों ने क्षति आंकलन का सर्वे कर रिपोर्ट कलेक्टर को सौंपी जिसके आधार पर प्रभावितों को राहत देने के लिए प्रस्ताव शासन को भेजा जा रहा है।
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इनका कहना है
नहर के फूटने के तकनीकी कारणों की जांच की जा रही है, घटना के बाद मैंने स्वयं अपने विभाग की टीम के साथ मौके पर निरीक्षण किया था और रात तीन बजे तक पानी के बहाव को नियंत्रित कराया गया। शासन स्तर पर इस संबंध में जानकारी मांगी गई है। नहर फूटने के जो भी कारण हैं उनके आधार पर दोषी व्यक्ति के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।
डीएस ठाकुर, अधी.यंत्री रानी अवंतीबाई सागर परियोजना बरगी बाईं नहर
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