रेत माफिया को मिला और मौका, अब 30 जून तक नदियों को कर सकेेंगे खोखला
नरसिंहपुरPublished: Jun 29, 2019 03:48:25 pm
जिले में मानसून सत्र की अवधि संशोधित, पहले 15 जून से लगाया था रेत निकालने पर प्रतिबंध
प्रतिबंध के बावजूद खुलेआम किया जा रहा था रेत का उत्खनन स्टॉक में मिला रेत का पहाड़, तीन वाहन जप्त, दो टू-माउंटेन मशीन करते मिली अवैध रेत उत्खनन
नरसिंहपुर. रेत ठेकेदारों को नर्मदा सहित अन्य नदियों से रेत निकाल कर उन्हें खोखला करने के लिए पांच दिन का और समय मिल गया है। मध्यप्रदेश राज्य स्तरीय पर्यावरण समाघात निर्धारण प्राधिकरण सिया के दिशा निर्देश और अधीक्षक भू अभिलेख नरसिंहपुर से मानसून के संबंध में प्राप्त आंकड़ों के आधार पर कलेक्टर दीपक सक्सेना ने जिले में मानसून सत्र की अवधि को 30 जून 2019 से एक अक्टूबर 2019 तक संशोधित किया है। कलेक्टर ने अब संशोधित मानसून सत्र की अवधि के दौरान जिले में संचालित सभी रेत खदानों, ग्राम पंचायतों को हस्तांतरित रेत खदानों में 30 जून 2019 से एक अक्टूबर 2019 तक खनन कार्य पूर्णत: प्रतिबंधित किया है। पूर्व में यह प्रतिबंध 15 जून से एक अक्टूबर 2019 तक लगाया गया था। जिसे अब संशोधित किया गया है।
इस सिलसिले में संशोधन निर्धारित शर्तों के आधार पर किया गया है। इन शर्तों के अनुसार उक्त आदेश केवल स्वीकृत रेत खदानों पर लागू होगा। रेत उत्खनन परिवहन सुबह 6 बजे से शाम 7 बजे तक किया जा सकेगा। रात्रि में उत्खनन परिवहन पर पूर्णत: प्रतिबंध रहेगा। स्वीकृत रेत खदानों से उत्खनन एवं लोडिंग के लिए मशीनों का उपयोग पूर्णत: प्रतिबंधित रहेगा, केवल मानव श्रमिकों द्वारा ही उत्खनन एवं वाहनों में लोडिंग का कार्य किया जा सकेगा। उल्लेखनीय है कि सिया के निर्देशानुसार जिले में रेत उत्खनन पर रोक लगाने के संबंध में स्थानीय मौसम परिवर्तन के आधार पर पूर्व निर्धारित वर्षाकाल अवधि में परिवर्तन किया जा सकता है।