scriptअलर्ट ! जिंदगी पर भारी जहरीली हवा, हर साल 17 लाख बच्चों की मौत | 17 million children dying every year because of pollution WHO report | Patrika News

अलर्ट ! जिंदगी पर भारी जहरीली हवा, हर साल 17 लाख बच्चों की मौत

Published: Mar 06, 2017 01:24:00 pm

अप्रत्यक्ष धूम्रपान समेत घर के भीतर व बाहर के वायु प्रदूषण के संपर्क में आने वाले शिशुओं के बचपन में निमोनिया और अस्थमा जैसी सांस से जुड़ी बीमारियों की चपेट में आने का खतरा ज्यादा होता है।

air pollution

air pollution

हर साल प्रदूषण के कारण पांच साल से कम उम्र के लगभग 17 लाख बच्चे मौत का शिकार हो जाते हैं। इसके कारण प्रदूषित पानी, स्वच्छता की कमी और घर के बाहर व भीतर व्याप्त प्रदूषण हैं।
विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्लयूएचओ) की सोमवार को जारी एक नई रिपोर्ट के अनुसार, एक महीने से पांच साल के बच्चों की हर चौथी मौत में से एक का कारण ये प्रदूषक हैं। रिपोर्ट के मुताबिक, प्रदूषित वातावरण खासतौर पर छोटे बच्चों के लिए बेहद घातक होता है। साथ ही उनके विकासित होते अंग और प्रतिरोधक क्षमता आदि के कारण उन्हें गंदी हवा और पानी से ज्यादा जोखिम होता है।
अप्रत्यक्ष धूम्रपान समेत घर के भीतर व बाहर के वायु प्रदूषण के संपर्क में आने वाले शिशुओं के बचपन में निमोनिया और अस्थमा जैसी सांस से जुड़ी बीमारियों की चपेट में आने का खतरा ज्यादा होता है। डब्ल्यूएचओ की रिपोर्ट में यह भी बताया गया है कि वायु प्रदूषण के कारण बच्चों में हृदयरोग, हृदयाघात तथा कैंसर जैसी घातक बीमारियों का खतरा भी बढ़ता है।
रिपोर्ट में हालांकि यह भी कहा गया है कि पेचिश, मलेरिया और निमोनिया के कारण होने वालीबच्चों की मौतों को कीटनाशक उपचारित मच्छरदानियों, खाना पकाने के लिए स्वच्छ ईंधन के इस्तेमाल और साफ पानी के प्रयोग से रोका जा सकता है।
इनके अलावा रिपोर्ट में बच्चों की मौतों को रोकने के लिए कुछ अन्य उपाय भी सुझाए गए हैं, जिनमें घरों से कीट पतंगों और लेड पेंट दूर रखना, स्कूलों में स्वच्छता और पोषण सुनिश्चित करना और शहरों में हरित क्षेत्र को बढ़ाना शामिल हैं।
loksabha entry point

ट्रेंडिंग वीडियो