आम आदमी पार्टी ने एक अखबार के लेख को शेयर करते हुए लिखा, “पंजाब के एजुकेशन सेक्टर को सीएम मान एक नए स्तर पर ले जाएंगे। स्कूलों और कॉलेजों सहित शिक्षकों और छात्रों को सभी सुविधाएं प्रदान की जा रही हैं। सरकार के कामकाज से हर वर्ग खुश!”
शेयर किये गए पोस्ट में कहा गया है कि शिक्षा के स्तर में सुधार और सरकारी स्कूलों में पढ़ रहे स्टूडेंट्स को बेहतर बेहतर शिक्षा सुविधाएं उपलब्ध करवाने का का नजरिया 4 महीने में ही दिखने लगा है।
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सरकारी स्कूलों में आधुनिक डिजिटल क्लास रूम बनाए जाएंगेइसमें ये भी दावा किया गया है कि’100 मौजूदा सरकारी स्कूलों की पहचान की जाएगी और इन्हें ‘स्कूल ऑफ एमीनैंसज’ के तहत अपग्रेड किया जाएगा। इन स्कूलों में डिजिटल क्लासरूम, लैब, बिजनस ट्रेनिंग जैसी खास सुविधाएं दी जाएंगी।’
बता दें कि मान सरकार 500 सरकारी स्कूलों में आधुनिक डिजिटल क्लास रूम बनाने की भी योजना पर काम कर रही है। स्कूलों में इतने बड़े स्तर पर बदलाव के लिए वोत्त वर्ष 2022-23 के लिए 200 करोड़ रुपये का बजट भी सरकार ने रखा है।
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इसके अलावा मान सरकार का दावा है कि स्कूलों में 6635 ETT शिक्षकों की भर्ती का लाभ स्टूडेंट्स को मिल रहा है। द्यावे में ये भी कहा गया है कि मान सरकार ये फैसला कि वजीफा राशि सीधे बैंक कहते में ट्रांसफर की जाए इसकी राज्य की जनता सराहना कर रही है। मान सरकार द्वारा प्राइवेट स्कूलों की मनमानी पर भी रोक लगाए जाने से स्टूडेंट्स के परिजन काफी खुश हैं।वहीं, शिक्षक संघ जो पंजाब सरकार के खिलाफ विरोध कर रहा है उसका दावा है कि सीएम मान ने कोई सुधार नहीं किया है। डेमोक्रेटिक टीचर्स फ्रंट (डीटीएफ) के प्रमुख दिग्विजयपाल शर्मा ने कहा, ‘पिछली सरकारों की तरह आप सरकार भी सरकारी क्षेत्र के निजीकरण के लिए काम कर रही है। 2022 के विधानसभा चुनाव से पहले आप नेताओं ने बड़े-बड़े वादे किए, जो अब तक पूरे नहीं हुए हैं।’
शिक्षक संघ की मांग है कि कान्ट्रैक्ट वाले शिक्षकों को स्थाई किया जाए, कंप्युटर टीचरों को एजुकेशन डिपार्ट्मन्ट के अन्डर भेजा जाए और ओल्ड पेंशन स्कीम को फिर से शुरू किया जाए।