चार साल बाद मिलेगी एकमुश्त रकम… टीओडी (TOD) के तहत सैनिकों को सेना से बाहर होने पर न तो पेंशन मिलेगी न ही ईसीएचएस जैसी स्वास्थ्य योजना का फायदा मिलेगा। हालांकि चार साल की सर्विस के बाद जब वह बाहर होंगे तो उन्हें एकमुश्त 10-12 लाख रुपये दिए जाएंगे। अगर ड्यूटी पर किसी सैनिक की मौत हो जाती है तो परिवार को इंश्योरेंस अमाउंट के तौर पर 45-50 लाख रुपये मिलेंगे, वहीं बचे हुई कार्यकाल का वेतन भी परिवार को दिया जाएगा।
बता दें कि सेना में भर्ती में देरी को लेकर युवाओं में काफी निराशा है। युवाओं को डर है कि भर्ती की घोषणा होने तक उनकी आयु-सीमा समाप्त हो सकती है। हालांकि, अब उम्मीद की जा रही है कि सरकार जल्द ही सेना भर्ती के लिए टूर ऑफ ड्यूटी योजना की घोषणा कर सकती है।
छह महीने की होगी ट्रेनिंग, जी जाएगी प्रोफेशनल ट्रेनिंग बता दें, टूर ऑफ ड्यूटी के साथ फिलहाल सैनिकों की भर्ती का वर्तमान में जारी तरीका भी चलता रहेगा। इसमें भी बाद में बदलाव की योजना है। योजना के अनुसार लिखित परीक्षा पहले और फिजीकल टेस्ट बाद में किया जा सकता है। जो युवा टूर ऑफ ड्यूटी के तहत आएंगे, उनकी छह माह की बेसिक मिलिट्री ट्रेनिंग होगी। अमूमन 18 साल में युवा सेना में आएंगे और चार साल बाद बाहर निकलेंगे तो उनकी उम्र 21-22 साल होगी। सेना से निकलकर ये युवा दूसरा रोजगार कर सकें इसके चार साल की सर्विस के दौरान ही प्रोफेशनल डिग्री और डिप्लोमा कोर्स भी कराए जाएंगे। जब युवा भर्ती होंगे तो उन्हें करीब 30 हजार रुपए वेतन देने की योजना है।
पहले भी बना था प्रस्ताव
इससे पहले भी इसे लेकर प्रस्ताव लाया गया था। उस पर सहमति नहीं बन पायी थी। उस प्रस्ताव के तहत 3 साल की सेवा के बाद कुछ सैनिकों को सेवामुक्त करना था। पांच साल बाद बचे सैनिकों को सेवामुक्त करने के बाद 25% सैनिकों की पूर्ण अवधि के लिए वापसी की योजना थी।