प्रधानमंत्री कार्यालय को भेजे गए प्रस्ताव में एयर इंडिया के आधे से अधिक हिस्सा बेचने की सलाह दी गई है। पीमओ को भेजी रिपोर्ट में विमानन कंपनी के 51 फीसदी हिस्से को पांच साल में बेचकर कंपनी को घाटे से उबारने को एक बेहतर विकल्प बताया है।
सूत्र बताते हैं कि आरंभिक स्तर पर चर्चा शुरू की गई है। हालांकि इस मामले पर एयर इंडिया और पीएमओ ने चुप्पी साध रखी है। वह इस योजना पर विस्तार से विचार करने की सलाह दी है। एयर इंडिया को घाटे से उबारने के लिए केन्द्र सरकार विभिन्न उपलब्ध विकल्पों पर गंभीरता से विचार कर रही है। केन्द्र का आकलन है कि निजी क्षेत्र की कंपनियों की प्रतिस्पद्र्धा में सरकारी एयरलाइन एयर इंडिया का टिके रहना बेहद मुश्किल है।