पाकिस्तान सरकार ने WHO के आंकड़ें जुटाने की मैकनिज्म पर सवाल खड़ा किया है। उल्लेखनीय हो कि WHO की रिपोर्ट से इतर पाकिस्तान सरकार ने देश में कोरोना से मरने वालों की सख्या 30369 बताई थी। पाकिस्ताना के एक न्यूज चैनल से बात करते हुए वहां के स्वास्थ्य मंत्री अब्दुल कादिर पटेल ने कहा कि हम कोविड से हुई मौतों पर ‘मैन्युअल' रूप से आंकड़े एकत्र कर रहे हैं, इसमें कुछ अंतर हो सकता है लेकिन यह सैकड़ों हजारों में नहीं हो सकता। डब्ल्यूएचओ की यह रिपोर्ट पूरी तरह से निराधार है।
मौतों की संख्या जुटाने पर सॉफ्टवेयर पर उठाए सवाल
पाकिस्तान के स्वास्थ्य मंत्री ने आंकड़े एकत्र करने के लिए संयुक्त राष्ट्र निकाय की कार्यप्रणाली पर भी सवाल उठाया है। उन्होंने मौतों की संख्या जुटाने के लिए इस्तेमाल किये गए सॉफ्टवेयर में त्रुटि की आशंका जताई है। बताते चले कि गुरुवार को डब्ल्यूएचओ ने कहा था कि पिछले दो वर्षों में लगभग 1.5 करोड़ लोगों ने या तो कोरोना वायरस के संक्रमण से या स्वास्थ्य प्रणालियों पर पड़े इसके प्रभाव के कारण जान गंवाई है और ज्यादातर लोगों की मौत दक्षिण पूर्व एशिया, यूरोप और अमेरिका में हुई हैं। इसी रिपोर्ट में उन्होंने भारत में 47 तो पाकिस्तान में 2.60 लाख लोगों की मौत की बात कही थी।
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दोगुने से अधिक है डब्ल्यूएचओ की मौत का आंकड़ा
इससे पहले भारत सरकार और भारतीय राज्यों के स्वास्थ्य मंत्रियों ने भी डब्ल्यूएचओ की रिपोर्ट पर सवाल खड़े किए थे। भारत पाकिस्तान के साथ कई अन्य देशों की सरकार ने भी विश्व स्वास्थ्य संगठन की रिपोर्ट पर सवाल उठाए है। बताते चले कि अभी तक की रिपोर्ट के अनुसार पूरी दुनिया 60 लाख लोगों के कोरोना से मौत की बात कही जाती है। लेकिन डब्ल्यूएचओ ने इसके दोगुने से भी अधिक 1.5 करोड़ मौतों की बात कही है।